Chhattisgarh Elephants Terror: छत्तीसगढ़ के सरगुजा जिले में हाथियों का आतंक थमने का नाम नहीं ले रहा है. पिछले 11 दिनों से जिले के बतौली क्षेत्र में विचरण कर रहे एक जंगली हाथी के द्वारा फसलों को लगातार नुकसान पहुंचाया जा रहा है.


सुबह के समय यह हाथी जशपुर सीमा पर सेलमबोड़ा जंगल में दिन भर विचरण करता है और रात होते ही जंगल से लगे बस्तियों की ओर रूख करता है. 


बीती रात करीब आठ बजे भी यह हाथी ग्राम सलेहाडीह के समीप पुनः पहुंच गया और सहादन पिता एतवा के गेहूं और गन्ना के फसल को लगातार दूसरी बार नुकसान पहुंचाया. वहीं शिवकुमार पिता बजरू के भी गन्ना के साथ टमाटर की फसल को नुकसान पहुंचाया.


अकेले इस हाथी के द्वारा अभी तक लगभग 13 से 14 एकड़ रकबे में लगे फसल को क्षति पहुंचाई जा चुकी है. फसलों को लगातार नुकसान पहुंचाने से ग्रामीणों की चिंता बढ़ रही है.


आधा दर्जन से अधिक गांवों में दहशत


बताया जा रहा है कि यह हाथी लुण्ड्रा की ओर से बतौली क्षेत्र में प्रवेश किया था और फसलों को नुकसान पहुंचा रहा है. सेलमबोड़ा जंगल में दिन के समय विचरण करने के चलते इस जंगल से लगे ग्राम टिरंग, बांसाझाल, नवानगर, सलेयाडीह, घोघरा, चऊरपानी, बोदा सहित अन्य गांव के ग्रामीणों में दहशत है. हाथी विचरण क्षेत्र से लगे बस्ती के ग्रामीण रतजगा करन के लिए भी मजबूर हो रहे हैं.


वन अमला ग्रामीणों को दे रहा समझाइश


इधर वन कर्मचारियों द्वारा इस हाथी की निगरानी करते हुए ग्रामीणों को लगातार समझाया जा रहा है. ग्रामीणों को हाथियों से दूर रहने की सलाह दी जा रही है. वन विभाग की गजराज टीम लगातार क्षेत्र का भ्रमण कर रही है और हाथी जिस ओर विचरण कर रहा है उस ओर से लगे बस्ती के ग्रामीणों को सतर्क किया जा रहा है.


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