छत्तीसगढ़ के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल अंबेडकर हॉस्पिटल में पिछले 4 दिनों से जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर हैं. जूनियर डॉक्टरों की हड़ताल के चलते स्वास्थ्य सेवाएं प्रभावित हो रही हैं. खासकर ओपीडी में आने वाले मरीजों को भटकना पड़ रहा है. पहले जहां ओपीडी में डेढ़ हजार मरीज आते थे उनकी संख्या अब घटकर आधी हो गई है. अस्पताल में चेकअप कराने आए मरीजों की लाइन लगी है. कुछ मरीज घंटे भर से स्ट्रेचर में पड़े हैं. मरीजों को देखने वाले डॉक्टर नहीं हैं.
हड़ताल की वजह
बता दें की अस्पताल में सेवा देने वाले जूनियर डॉक्टर बीते चार दिनों से NEET-PG 2021 काउंसिलिंग जल्दी करवाने की मांग के चलते हड़ताल पर चल गए हैं. दरअसल, पिछले एक साल से NEET-PG 2021 काउंसलिंग में देरी हो रही है. इससे सेकेंड ईयर के छात्रों पर वर्क लोड बढ़ गया है. छात्रों को छुट्टी नहीं मिल रही है. रोजाना ड्यूटी करने से तबीयत तक खराब हो जा रही है. जूनियर डॉक्टर संघ के अध्यक्ष इंद्रेश यादव ने बताया कि सोमवार को राज्यपाल से मुलाकात कर 2 मांगों से अवगत कराया गया है. इसमें NEET PG के काउंसलिंग में हो रही देरी को लेकर केंद्र सरकार के नाम से ज्ञापन सौंपा गया है. इसके अलावा दूसरे राज्यों की तुलना में राज्य के PG रेजिडेंट को कम मिलने वाले स्टाइपेंड को तुरंत बढ़ाने की मांग की गई है.
इमरजेंसी वाले मरीजों का हो रहा इलाज
अंबेडकर अस्पताल में ओपीडी की सेवा प्रभावित हो रही है. सिर्फ एमरजेंसी में आए मरीजों का इलाज किया जा रहा है. बलोदा बाजार जिले से आए शंकर लाल साहू अपनी सासू मां के इलाज के लिए अस्पताल पहुंचे हैं. गाय के हमले से कमर और पैर पर चोट आई है. एक बजे के आस पास यहां पहुंचे थे. तब से इधर उधर भेजा जा रहा है.
वहीं अंबेडकर अस्पताल के जनसंपर्क अधिकारी शुभ्रा सिंह से मिली जानकारी के अनुसार लागातार ओपीडी में केस कम दर्ज किए जा रहे हैं. शनिवार को 642 मरीज ओपीडी में आए थे. सोमवार को 800 मरीज ओपीडी में आए. मंगलवार को ये संख्या 700 के करीब रही है.
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