Kanker: बस्तर में तेंदूपत्ता से भरी बोरियों में आग लग जाने से विभाग को लाखों रुपए का नुकसान हुआ है. घटना कांकेर जिले के हुरतरई गांव की है. जहां तेंदूपत्ता समिति के अस्थाई गोदाम में रखे तेंदूपत्ता की बोरियों में भीषण आग लग गई. हालांकि समय रहते आग पर काबू पा लिया गया और 500 से अधिक तेंदूपत्ता बोरों को आग की चपेट में आने से बचा लिया गया. पुलिस ने नक्सली घटना की संभावना से इंकार किया है. इसे असमाजिक तत्वों के द्वारा आगजनी की वारदात को अंजाम देने की बात कही है. पुलिस मामले की जांच में जुट गई है.


52 लाख रुपये का तेंदूपत्ता हुआ जलकर राख


कोयलीबेड़ा थाना प्रभारी ने बताया कि बुधवार रात जिले के नक्सल प्रभावित गांव हूरतराई समिति के अस्थायी तेंदूपत्ता गोदाम में आग लगने की सूचना मिली. जानकारी के मुताबिक गोदाम में लगभग 1200 बोरा तेंदूपत्ता रखा हुआ था. आग लगने के बाद वहां मौजूद कर्मचारियों ने आग बुझाने का प्रयास किया लेकिन आग तेजी से फैल गया. जिसके बाद पुलिस भी मौके पर पहुंची. वहीं फॉरेस्ट रेंजर दिलीप सिन्हा ने बताया कि अस्थायी गोदाम में 1200 बोरी तेंदूपत्ता रखा हुआ था.


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लोगों ने आग बुझाने की कोशिश की


रात में आग लगने पर वहां मौजूद कर्मचारियों ने तत्काल आग बुझाने की कोशिश की और इसकी सूचना भी दी. सूचना पर पुलिस टीम भी मौके पर पहुंच गई थी. सभी के सहयोग से लगभग 400 बोरा तेंदूपत्ता को जलने से बचा लिया गया. वहीं 800 बोरा तेंदूपत्ता आग की चपेट में आने से जलकर खाक हो गया. जिसे संग्राहकों ने 8 हजार 881 रुपये प्रति मानक बोरा की दर से खरीदा था. जिसकी कीमत 52 लाख रुपये है. 


नक्सली घटना से किया इंकार 


जानकरी के अनुसार घटनास्थल से नक्सली बैनर-पोस्टर मिलने की खबरें आ रही है. बैनर-पोस्टर मिलने की घटना को लेकर अन्तागढ़ एसडीओपी ने बताया कि नक्सल की आड़ में असामाजिक तत्वों ने घटना को अंजाम दिया है. इसकी जांच चल रही है.


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