Korba News: कोरबा (Korba) जिले में जिला शिक्षा विभाग में बड़ा मामला निकलकर सामने आया है. विभाग में पदस्थ विकासखंड शिक्षा अधिकारी (BEO) के कारनामे से पूरे विभाग में हड़कंप मचा हुआ है. उक्त अधिकारी के खिलाफ पहले मामला सामने आने के बाद स्वयं जिला शिक्षा अधिकारी ने विभागीय जांच कराई, जिसमें आरोपों की पुष्टि हुई है और कार्रवाई के लिए मुख्यालय को पत्र भेजा जा चुका है. वहीं इन्हीं बीईओ के खिलाफ एक सेवानिवृत्त प्रधानपाठक के सेवानिवृत्त पश्चात मिलने वाली पीपीओ और जीपीओ का दो बार भुगतान कर बड़ा कमीशन हड़पने का भी आरोप लगा हुआ है. 


यह मामला ट्रेजरी में सामने आने के बाद कलेक्टर कोरबा ने तत्काल संज्ञान लेते हुए उन्हें नोटिस जारी कर पांच दिनों के अंदर स्पष्टीकरण मांगा है. यदि पांच दिनों में स्पष्टीकरण नहीं दिया जाता तो उन पर एकपक्षीय कार्रवाई की चेतावनी दी गई है. यह पूरा मामला विकासखंड कटघोरा के शिक्षा विभग में पदस्थ विकासखंड शिक्षा अधिकारी आईपी कश्यप से जुड़ा हुआ है. जिनके द्वारा एक दो बार नहीं बल्कि अनेक बार शासन के नियमों को दरकिनार करते हुए भ्रष्टाचार का खेल खेला गया है. पुष्ट जानकारी के अनुसार विकासखंड शिक्षा अधिकारी कटघोरा आईपी कश्यप के खिलाफ पहला मामला जब खुला तो पता चला कि इन्होंने शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला गोपालपुर में पदस्थ रही प्रधान पाठिका मेरीलाल की वेतन राशि में घोटाला किया है. 


जिला शिक्षा अधिकारी ने मुख्यालय को भेजा पत्र
बीईओ कटघोरा के द्वारा प्रधान पाठिका मेरीलाल के 40 माह तक अनुपस्थित रहने के बावजूद उस अवधि के वेतन का भुगतान बिना सक्षम अधिकारी के अनुमति और प्रधानपाठिका की अवकाश स्वीकृति के किया गया है. इसके अलावा खंड स्रोत समन्वयक कटघोरा प्रहलाद साहू के नाम से भी बीईओ  कश्यप पर गलत जानकारी पोर्टल में प्रवृष्ट कर चिकित्सका प्रतिपूर्ति राशि भुगतान का आरोप लगा है. इस पर जिला शिक्षा अधिकारी जीपी भारद्वाज ने विभागीय जांच उपरांत मामला सही पाया और कार्रवाई के लिए मुख्यालय को पत्र भेज दिया है. वहीं दूसरे मामले के अनुसार विकासखंड शिक्षा अधिकारी पर आरोप है कि उन्होंने शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बालक कटघोरा में पदस्थ रहे  सेवानिवृत्त प्राचार्य शरदचंद्र भूषणलाल की सेवानिवृत्ति उपरांत उनके पीपीओ और जीपीओ में भारी घपला किया है. 


 शिक्षा विभाग में हड़कंप
आरोप के अनुसार बीईओ कश्यप के द्वारा सेवानिवृत्त प्रधानपाठक के द्वारा उक्त सेवानिवृत्त प्राचार्य की पूर्ण उपादान की राशि 18 लाख 63 हजार 160 रूपये कोषालय से जारी हो जाने के बाद भी पुनः भुगतान के लिए बिल प्रस्तुत किया गया और दूसरी दफा भी 16 लाख 76 हजार 817 रूपये का भुगतान उक्त प्राचार्य के खाते में करवा दिया गया. दोनों ही मर्तबा लगभग पांच लाख रुपये सेवानिवृत्त प्राचार्य से बीईओ ने प्राप्त किया है. यह मामला कोषालय के ऑडिट जांच के दौरान सामने आया. जिस पर 21 सितंबर को कलेक्टर सौरभ कुमार ने संज्ञान लिया और बीईओ आईपी कश्यप को उसी दिन कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए पांच दिनों के अंदर स्पष्टीकरण मांगा है.  यदि पांच दिनों के अंदर बीईओ कलेक्टर को इस मामले में स्पष्टीकरण नहीं देते हैं, तो उन पर एकपक्षीय कार्रवाई की भी चेतावनी कलेक्टर ने दी है. कटघोरा बीईओ आईपी कश्यप के इन कारनामों से जिला शिक्षा विभाग में हड़कंप मचा हुआ है. 


बीईओ से मांगा गया स्पष्टीकरण
अब आगे देखने वाली बात होगी कि इस शातिर विकासखंड शिक्षा अधिकारी पर शासन-प्रशासन किस तरह की कार्रवाई करती है ताकि अन्य अधिकारियों को भी इस तरह के भ्रष्टाचार को अंजाम देने से पहले सबक मिल सके.वहीं जिला शिक्षा अधिकारी कोरबा जीपी भारद्वाज ने कहा कटघोरा बीईओ आईपी कश्यप के खिलाफ लगे सभी आरोप जांच में सही पाए गए है. उन पर नियमानुसार कार्रवाई के लिए मुख्यालय को पत्र भेजा जा चुका है. वहीं जिला शिक्षा अधिकारी कोरबा जीपी भारद्वाज ने कहा कटघोरा बीईओ आईपी कश्यप के खिलाफ लगे सभी आरोप जांच में सही पाए गए है. उन पर नियमानुसार कार्रवाई के लिए मुख्यालय को पत्र भेजा जा चुका है.


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