Koriya News: पुरुषों के वर्चस्व वाले क्षेत्र में महिला भागीदारी, जानिए 'बिजली बिल वाली दीदी' के काम
कोरिया जिले में महिला स्व सहायता समूह की भारती को अब लोग बिजली बिल वाली दीदी के नाम से जानने लगे हैं. पहली बार महिला पुरुषों के वर्चस्व वाले क्षेत्र में उतरकर मीटर रीडिंग के काम में उतरी हैं.
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Koriya News: मीटर रीडिंग और स्पॉट बिलिंग जैसे काम में अक्सर पुरुषों को ही देखा जाता है. लेकिन पहली बार कोरिया जिले लीक से हटकर काम हुआ है. महिलाएं भी अपना कौशल आजमा रही हैं और घर-घर मीटर रीडिंग कर लोगों तक बिजली बिल की सुविधा पहुंचा रही हैं. भारती ग्राम बड़काबहरा में जय लक्ष्मी महिला स्व सहायता समूहत की सदस्य हैं. उन्होंने पिछले माह मार्च से मीटर रीडिंग का काम शुरू किया है. प्रथम बैच में भारती 218 और द्वितीय बैच में 200 मीटर रीडिंग का काम कर चुकी हैं.
पुरुषों के वर्चस्व वाले क्षेत्र में महिला भागीदारी
अप्रैल माह के प्रथम बैच में भी भारती ने 270 घरों में मीटर रीडिंग और स्पॉट बिलिंग की लोगों को समय पर सुविधा उपलब्ध कराई है. भारती को अब लोग बिजली बिल वाली दीदी के नाम से जानते हैं. बता दें कि कोरिया कलेक्टर कुलदीप शर्मा ने अभिनव पहल की थी. उन्होंने विद्युत विभाग की समीक्षा के दौरान ईई सीएसईबी को ग्रामीण क्षेत्रों में गांव की ही महिलाओं को मीटर रीडिंग के काम से जोड़कर जिले में स्पॉट बिलिंग की व्यवस्था बेहतर बनाने के निर्देश दिए थे. जिले में 1 लाख 1 हजार 645 बिजली उपभोक्ता हैं.
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मीटर रीडिंग और स्पॉट बिलिंग की मिल रही सुविधा
हर रीडर को 15 दिन में तीन बैच में रीडिंग करनी होती है. ग्रामीण क्षेत्रों में 7 रुपये प्रति रीडिंग की दर से रीडर को राशि भुगतान किया जाता है. इसी तरह शहरी क्षेत्रों में 5 रुपये प्रति रीडिंग की दर से राशि मिलती है. रीडिंग और स्पॉट बिलिंग के काम में ग्रामीण महिलाओं को भी प्रशिक्षण देकर आजीविका से जोड़ा जाएगा. कोरिया जिले में स्पॉट बिलिंग और मीटर रीडिंग की व्यवस्था को बेहतर बनाने की दिशा में आवश्यक मानव संसाधन के तौर पर महिलाओं को जोड़ा जा रहा है. महिलाओं को नई आजीविका का साधन उपलब्ध कराने और आवश्यक मानव संसाधन की पूर्ति करने की कवायद है.
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