Chhath Puja 2022: अर्पण नदी के तट पर छठ पर्व से पहले की गई महाआरती, हजारों की तादाद में शामिल हुए लोग
Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में शुक्रवार को अर्पण नदी के तट पर महाआरती की गई. इस दौरान घाट को रंग बिरंगे लाइटों और दीयों से सजाया गया.जिसके बाद विधि विधान से मां अरपा की महाआरती की गई.
Bilaspur News: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में स्थित अर्पण नदी के तट पर देश का सबसे बड़ा और लंबा स्थाई छठ घाट बनाया गया है. इसके साथ ही अर्पण नदी के तट पर महाआरती की गई. इसके साथ ही शुक्रवार को छठ महापर्व की शुरुआत हो गई है. नहाए खाए के साथ शुक्रवार को तोरवा छठ घाट में अरपा की महाआरती की गई. जिसमें शहर विधायक, मेयर, पर्यटन बोर्ड अध्यक्ष, पूर्व नेता प्रतिपक्ष सहित छठ समिति के पदाधिकारी और शहरवासी शामिल रहे.
छठ पर्व से पहले पहली बार महाआरती परंपरा हुई शुरू
दरअसल, बिलासपुर में छठ समिति ने छठ महापर्व से पहले अरपा नदी के तट पर पहली बार महाआरती की परंपरा शुरू की है. ताकि, अरपा को स्वच्छ और अविरल रखा जा सके. इसी कड़ी में शुक्रवार को छठ महापर्व के शुरुआत के साथ तोरवा छठ घाट में अरपा की महाआरती की गई. घाट को रंग बिरंगे लाइटों और दीयों से सजाया गया. जिसके बाद विधि विधान से मां अरपा की महाआरती की गई. कार्यक्रम में शामिल जनप्रतिनिधियों, पदाधिकारियों और शहरवासियों ने महाआरती के साथ जीवनदायिनी अरपा को स्वच्छ और अविरल रखने का संकल्प भी लिया.
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अर्पण नदी पर बने स्थाई छठ घाट को पर्यटन स्थल बनाने की मांग
इस दौरान छठ समिति ने घाट के विकास और संरक्षण के लिए क्षेत्र को पर्यटन क्षेत्र घोषित करने और सहयोग करने की भी मांग रखी. जिस पर पर्यटन बोर्ड के अध्यक्ष अटल श्रीवास्तव ने इसके लिए हर संभव प्रयास करने का भरोसा दिलाया. शहर विधायक शैलेश पांडेय ने इस दौरान छठ घाट के विकास के लिए विधायक निधि से 10 लाख रुपये देने की घोषणा की. दरअसल, आस्था का महापर्व छठ पूजा कल से शुरू हो रहा है. 28 अक्टूबर 2022 को पहले दिन नहाय खाय, 29 अक्टूबर 2022 को दूसरे दिन खरना, 30 अक्टूबर 2022 तीसरे दिन सूर्यास्त को अर्घ्य और 31 अक्टूबर 2022 को चौथे दिन सूर्योदय को जल चढ़ाकर पूजा की जाएगी. यह पर्व छठी मईंया और सूर्य देव को समर्पित है.