Chhattisgarh: नंबर प्लेट अब 'पदनाम प्लेट' बना, बड़े अधिकारियों की गाड़ी इस लिस्ट में, नियमों की अनदेखी
Manendragarh-Chirmiri-Bharatpur: जिले में अधिकारियों के वाहन में आगे नम्बर की जगह पदनाम लिखा हुआ है लेकिन परिवहन विभाग उनपर कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है. आरटीओ अधिकारी ने प्रतिक्रिया दी है.
Manendragarh-Chirmiri-Bharatpur News: नंबर प्लेट वाहनों की पहचान होती है. मोटर व्हीकल एक्ट के तहत नियमानुसार नंबर प्लेट लगाना अनिवार्य है, लेकिन अब ये नंबर प्लेट, नंबर की जगह पदनाम में तब्दील होती जा रही है. ज्यादातर वाहनें फिर चाहे वह कलेक्टर, डिप्टी कलेक्टर, एसडीएम की हों या अन्य विभागीय अधिकारियों और जन प्रतिनिधियों की. सभी नंबर प्लेट में बड़े अक्षरों में पदनाम लिखकर अपनी धौंस जमा रहे हैं. सड़कों पर ऐसे वाहन सैकड़ों की तादाद में दौड़ रहे हैं लेकिन परिवहन (Chhattisgarh Transport Department) व पुलिस विभाग (Chhattisgarh Police) उन पर कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है.
पदनाम लिखी नंबर प्लेट वाली गाडियां
छत्तीसगढ़ में मनेंद्रगढ़ शहर के किसी भी चौराहे या तिराहे पर खड़े हो जाइए तो आपको पदनाम लिखी नंबर प्लेट वाली गाडियां दिख जाएंगी. ऐसा इसलिए है कि खुद कानून की रक्षा करने वाले अधिकारी ही ऐसा कर रहे हैं. अब जब दो जिले के मुखिया और अधीनस्थ अधिकारी ऐसा करेंगे तो फिर अन्य लोगों और अधिकारियों को कौन रोकेगा? आम जनता की गाड़ियों का पुलिस और आरटीओ चालान काटने में देरी नहीं करता लेकिन प्रशासन के इन बड़े अफसरों के आगे लगता है कि पुलिस और आरटीओ की नजर धुंधली हो जाती है.
नंबर से बड़ा अधिकारियों का पदनाम
छत्तीसगढ़ के नवगठित जिला मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर के कलेक्टर पीएस ध्रुव को पहली बार कलेक्टरी मिली है. ऐसे में कलेक्टर के वाहन में आगे नम्बर की जगह पदनाम कलेक्टर लिखा हुआ है. वहीं इसी जिले में डिप्टी कलेक्टर के पद पर पदस्थ पैकरा के वाहन में भी नम्बर प्लेट की जगह पर नम्बर न लिखकर, डिप्टी कलेक्टर लिखा हुआ है. इधर कोरिया जिले के कलेक्टर विनय लंगेह के वाहन में आगे नम्बर लिखा तो हुआ है लेकिन वाहन के आगे पदनाम कलेक्टर इतना बड़ा लिखा हुआ है कि नम्बर ढंक जा रहा है. कुछ ऐसा ही हाल बैकुंठपुर एसडीएम अंकिता सोम के वाहन का है. एसडीएम के वाहन में आगे नम्बर तो लिखा हुआ है, लेकिन पदनाम बड़ा लिखा हुआ है और नम्बर छोटा लिखा हुआ है.
आरटीओ अधिकारी-यातायात प्रभारी ने क्या कहा
इस संबंध में जिला आरटीओ अधिकारी अनिल भगत ने कहा कि पर्याप्त अमला नहीं है कि एक-एक गाड़ी पर नजर डाली जाए. अगर गाड़ी में आगे पदनाम है, तो गलत है. आप कलेक्टर से पूछिए कि क्यों नंबर नहीं लगाए हैं. वैसे मैं बोलूंगा कलेक्टर साहब को कि गाड़ी के आगे नम्बर लिखवाएं. यातायात प्रभारी एसपी सिंह ने कहा कि गाड़ी के आगे अगर नंबर छोटा और पद बड़ा लिखा है तो यह अस्पष्ट नम्बर की श्रेणी में आता है. मेरे संज्ञान में ऐसे वाहनों की जानकारी नहीं आई है. जैसे ही ऐसे वाहन संज्ञान में आएंगे. यातायात नियमों के अनुसार कार्रवाई की जाएगी.
कैसी होनी चाहिए नंबर प्लेट?
1. वाहनों के आगे और पीछे हर हाल में स्पष्ट अक्षरों में लिखा होना चाहिए.
2. नंबर प्लेट चमकीली नहीं होनी चाहिए.
3. नंबर प्लेट ऐसी होनी चाहिए, जो कि अंधेरे में साफ दिखाई दे.
4. स्टाइलिश या आड़े तिरछे अक्षर नहीं लिखे होने चाहिए.
5. नंबर का साइज ऐसा हो जो कि दूर से पढ़ा जा सके.