एक तरफ जहां लोग सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का दुरुपयोग कर कानूनी पचड़े में फंस रहे हैं वहीं कुछ सोशल मीडिया के सही इस्तेमाल से अपनी जिंदगी संवारने की कोशिश कर रहे हैं. ताजा मामला छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले में देखने को मिला है. सूरजपुर के एक छोटे से गांव की कॉलेज छात्रा ने बिना किसी कोचिंग और बिना किसी सहायता के इंग्लिश बोलना सीख लिया. छात्रा ने 12वीं पास करने के बाद लॉकडाउन में यूट्यूब का सही इस्तेमाल किया. वर्तमान में सूरजपुर की बेटी अलग अलग राज्यों के लोगों को सोशल मीडिया के माध्यम से इंग्लिश की कोचिंग करा रही है. 


लॉकडाउन में शुरू किया इंग्लिश सीखना


सूरजपुर जिले के गणेशपुर गांव की रहने वाली आंचल यादव एक मध्यम वर्ग परिवार से है. आंचल के पिता खेती किसानी का काम करते हैं और मां गृहणी हैं. एक भाई और एक बहन भी हैं. आंचल यादव बताती हैं कि 2020 में सिलफिली के हायर सेकेंडरी स्कूल से 12वीं की परीक्षा पास की. वर्तमान में बीए सेकंड ईयर की पढ़ाई कर रही है. इंग्लिश सीखने के पीछे का मकसद बताया कुछ अलग करने की चाहत थी. 12वीं के बाद यूट्यूब पर इंग्लिश भाषा से संबंधित वीडियो देखे. बुनिदादी जानकारी होने के बाद खुद से इंग्लिश सीखने का नया नया प्रयोग करने लगी. प्रयोग काफी हद तक सफल रहा. आंचल ने बताया कि इंग्लिश सीखने के दौरान कोरोना की वजह से देश में लॉकडाउन चल रहा था. लॉकडाउन में भी पढ़ाई जारी रखी और वीडियो देखकर धीरे धीरे मेहनत के बलबूते धाराप्रवाह अंग्रेजी बोलना और लिखना सीख गई.


हिंदी मीडियम की स्टूडेंट होने की वजह से आंचल इंग्लिश में काफी कमजोर थी. इंग्लिश में कमजोर होने के कारण तकनीक का इस्तेमाल करना मुश्किल हो रहा था. इंग्लिश की कोचिंग करने की चाहत में आर्थिक तंगी रोड़ा बन गई. आखिरकार यूट्यूब से इंग्लिश की कोचिंग शुरू की और आज इंग्लिश बोल और लिख पाने में सक्षम बन गई. आंचल ने मेहनत और लगन के बल पर इंग्लिश जैसे कठिन विषय को आसान बना लिया और अब लोगों को इंग्लिश सीखाने का काम कर रही है. वर्तमान समय में इंग्लिश भाषा हर किसी के लिए बेहद जरूरी बन गया है. ऐसे में आंचल के साथ  लगातार लोग जुड़ रहे हैं. 


लॉकडाउन में समय और सोशल मीडिया का सदुपयोग कर फर्राटेदार इंग्लिश बोलना सीख चुकी आंचल के चर्चे अब सूरजपुर जिले से बाहर फैल चुके हैं. वर्तमान में आंचल यादव ने यूट्यूब पर खुद का यूट्यूब चैनल "स्पीक विथ विलेज गर्ल" बनाया है. चैनल पर इंग्लिश भाषा से संबंधित वीडियो अपलोड करती है. आंचल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म जैसे फेसबुक, व्हाट्सएप पर खुद का ग्रुप भी बनाया. ग्रुप से जुड़कर काफी लोग आंचल से इंग्लिश की कोचिंग ले रहे हैं. आंचल इंग्लिश सीखाने का कई लोगों से फीस लेती है तो कुछ आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को मुफ्त में शिक्षा दे रही है. आंचल की सफलता पर परिवार सहित स्थानीय लोग भी बेहद खुश हैं. लोगों ने आंचल के उज्जल भविष्य की कामना की है. आंचल की वजह से अब ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे भी इंग्लिश भाषा पर पकड़ मजबूत कर रहे हैं.


भारत ही नहीं विदेश से भी जुड़ रहे हैं लोग


आंचल यादव ने एबीपी न्यूज को बताया कि कॉमन विषय इंग्लिश होने के कारण बचपन से पढ़ते हैं, लेकिन सीखना लॉकडाउन समय के शुरू किया. लॉकडाउन में स्कूल, कॉलेज बंद थे. कुछ नया करने की चाहत थी. उसने आगे बताया कि यूट्यूब पर इंग्लिश से संबंधित बहुत सारे चैनल है, लाइव क्लासेज हैं. वीडियो देखकर इंग्लिश सीखने का खुद के लिए रूल्स अपनाए. आंचल का कहना है कि उसने जो सीखा है वही लोगों की सीखा रही है. उसके साथ बहुत सारे जुड़नेवाले लोगों में भारत ही नहीं बल्कि विदेश के हैं. 


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