छत्तीसगढ़ के राजदीप सिंह हरगोत्रा के हौंसले की इन दिनों जमकर चर्चा हो रही है. इस वक्त जर्मनी में रहते हैं लेकिन रूस और यूक्रेन के जंग के बीच हजारों भारतीय यूक्रेन में फंसे हुए हैं. इन नागरिकों की मदद के लिए राजदीप ने घर में बिना बताए 1200 किलोमीटर का सफर कर 2 गाड़ियों के साथ यूक्रेन बॉर्डर पहुंचे और लोगों को गरम कपड़े, खाने पीने की सामग्री उपलब्ध करा रहे हैं.
रायपुर के राजदीप ने यूक्रेन बॉर्डर पर लगाया राहत शिविर
दरअसल रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध के कारण यूक्रेन से भारतीय नागरिकों के साथ यूक्रेन के भी नागरिक देश छोड़कर बाहर जा रहे हैं. इसके लिए कड़कड़ाती ठंड में लंबी दूरी तय कर रहे हैं. ऐसे वक्त में लोगों के पास गरम कपड़े और खाने पीने की सामग्री को लेकर लोग परेशान हैं. इनकी मदद करने के लिए रायपुर के राजदीप और उनके दोस्त फूड के साथ यूक्रेन से लगे बोर्डरों पर लोगों की मदद कर रहे हैं.
यूक्रेन बोर्डर पर दयनीय स्थिति
राजदीप ने एबीपी न्यूज को बताया कि कुछ भारतीय छात्रों का मदद के लिए फोन आया था. इसके बाद हम समान लेकर बॉर्डर के लिए निकल गए थे. अब पिछले 5 दिनों से अलग अलग लोकेशन में लोगों की मदद के लिए खाना,कपड़ा और सुरक्षित स्थान पर लाया जा रहा है. हमने कई भारतीय छात्रों को ऑस्ट्रिया भेजा है. इसके अलावा यूक्रेन के नागरिकों को भी सुरक्षित स्थान तक भेज रहे हैं. बोर्डर की हालत बताते हुए राजदीप ने बताया कि बहुत दयनीय स्थिति है. लेकिन बहुत सारे संस्था लोगों की मदद के लिए सामने आ चुकी है.
जर्मनी से हम 4 लोग आए हैं. हमने 6 दिन के लिए गाड़ी किराए पर लिया था. अब गाड़ी वापस करना है इसके बाद दूसरी गाड़ी किराए पर लेना है और लोगों की मदद करेंगे. अब तक 4 हजार किलोमीटर तक का सफर तय कर चुके हैं दिन रात सफर चल रही इससे हमारे एक साथी की तबीयत खराब हो गई है.इस मुहिम में आम नागरिक भी मदद कर रहे हैं अलग अलग जगहों से राहत सामग्री डोनेट किया जा रहा है. मुसीबत में फंसे लोगों की लगातार फोन आ रहे है इस लिए हम अलग अलग बोर्डरो में जाकर मदद कर रहे है.
राजदीप अंतर्राष्ट्रीय जंप रोप खिलाड़ी हैं
राजदीप के पिता इस वक्त रायपुर में हैं. उन्होंने बताया कि राजदीप अंतर्राष्ट्रीय जंप रोप खिलाड़ी हैं. पिछले 5 साल से राजदीप जर्मनी में हैं. वहीं पढ़ने के बाद उनकी जॉब लग गई है. परिवार में राजदीप सबसे छोटा हैं. इसलिए पिता घबराएं हुए हैं. उन्होंने बताया कि जल्द राजदीप को वापस आने के लिए कहा गया है. रोजाना परिवार के सभी सदस्य वीडियो कॉल बात करते हैं.
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