Delhi के सरकारी स्कूलों में प्रिसिंपल की भर्ती को लेकर छिड़ा संग्राम, सिसोदिया बोले- 'झूठे हैं एलजी सक्सेना'
AAP vs LG: आम आदमी पार्टी ने कहा कि हमने सत्ता में आते ही 57 प्रिंसिपलों की नियुक्ति की, आज दिल्ली के हर विभाग में नियुक्ति का जिम्मा केंद्र सरकार ने असंवैधानिक रूप से अपने हाथों में ले लिया है.
Delhi News: देश की राजधानी दिल्ली के सरकारी स्कूलों में प्रिंसिपल के 126 पद पिछले 2 साल से खाली पड़े हुए थे. शनिवार को एलजी विनय कुमार सक्सेना (Vinay Kumar Saxena) ने इस मुद्दे को उठाते हुए खाली पदों पर जल्द बहाली के निर्देश दिए थे. लेकिन आम आदमी पार्टी (AAP) ने एलजी के इन आरोपों को झूठा बताया. दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने रविवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए इन आरोपों का खंडन किया.
'शिक्षा में सुधार के लिए हमने युद्ध स्तर पर काम किया'
AAP की ओर से प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा गया कि, 'हमारी सरकार ने दिल्ली में शिक्षा और स्वास्थ्य में बदलाव लाने का काम किया. शिक्षा और स्वास्थ्य को अपनी प्रमुखताओं में रखते हुए इन क्षेत्रों में सुधार के लिए युद्ध स्तर पर काम किया. दिल्ली में अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में जब से हमारी सरकार बनी है तब से ही हम शिक्षा के क्षेत्र में सुधार के लिए काम कर रहे हैं. साल 2015 में हमारी सरकार आते ही हमने सरकारी स्कूलों में 57 प्रिंसिपलों की नियुक्ति की. इसके बाद से केंद्र सरकार ने हमारे काम में अड़चन पैदा करने का काम शुरू किया.'
'केंद्र ने हमसे छीन लिए नियुक्ति के अधिकार'
सिसोदिया ने आगे कहा कि, 'आज केंद्र ने दिल्ली के हर विभाग में नियुक्ति का जिम्मा अपने हाथों में ले लिया है. यहां तक कि दिल्ली में आईएएस के ट्रांसफर भी केंद्र सरकार ही करती है. AAP ने कहा कि आज दिल्ली सरकार के हर विभाग के हर कर्मचारी को नियुक्त करने की पावर केंद्र सरकार के पास है. हम केवल अस्पताल, दवाई और सुविधा दे सकते हैं. लेकिन डॉक्टर, नर्स हायर करना है तो उसे केंद्र और एलजी ही नियुक्त करेंगे. उन्होंने कहा कि केंद्र और एलजी ने असंवैधानिक रूप से नियुक्ति करने के अधिकार पर कब्जा कर रखा है.'
'8 सालों से स्कूलों में टीचिंग स्टाफ की नियुक्ति नहीं होने दी'
सिसोदिया ने आगे कहा कि पिछले 8 सालों से केंद्र सरकार के नुमाइंदे एलजी (वीके सक्सेना) ने सरकारी स्कूल में टीचिंग/नॉन टीचिंग स्टाफ की नियुक्ति नहीं होने दी. यही नहीं, उन्होंने अस्पताल में पर्ची काटने वाले की भी भर्ती नहीं होने दी. उन्होंने केंद्र और एलजी पर आरोप लगाते हुए कहा कि वे एक तरफ नियुक्ति नहीं होने देते हैं और दूसरी तरफ हल्ला करते हैं कि अस्पताल में स्टाफ नहीं है, और स्कूलों में टीचर नहीं है. सिसोदिया ने कहा कि हमने स्कूलों में विश्व स्तरीय सुविधा दी है, उन्हें (एलजी) को इसकी तारीफ करनी चाहिए.