अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले बुलाई महिला अदालत, क्या हैं इसके मायने?
Delhi Poll 2025: आप (AAP) प्रमुख अरविंद केजरीवाल के मुताबिक महिलाओं के खिलाफ क्राइम में बढ़ोतरी पर आवाज उठाने का समय आ गया है. आज महिला अदालत में हिस्सा लेकर इस मुद्दे पर चर्चा करूंगा.
Delhi Assembly Election 2025: दिल्ली विधानसभा चुनाव होने में 2 महीने से भी कम समय शेष है. यही वजह है कि आप, बीजेपी और कांग्रेस के बीच दिल्ली की सत्ता पर काबिज होने को लेकर सियासी घमासान चरम पर पहुंच गया है. विधानसभा चुनाव में सभी एक-दूसरे को पटखनी देना चाहते हैं. सत्ताधारी पार्टी आप (AAP) भी दिल्ली की सत्ता में चौथी बार वापसी के लिए हर संभव कोशिश में जुटी है.
आम आदमी पार्टी की इस कोशिश के तहत पदयात्रा और 'फ्री की रेवड़ी पर चर्चा' लोगों के बीच जारी है. इस दिशा में एक कदम और आगे बढ़ाते हुए दिल्ली के पूर्व सीएम और आप प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने महिला अदालत का आयोजन किया.
इससे पहले अरविंद केजरीवाल ने अपने एक्स पोस्ट में लिखा, "दिल्ली में महिलाओं के खिलाफ क्राइम में बढ़ोतरी गंभीर चिंता का विषय है. इस पर आवाज उठाने का समय आ गया है. इस मसले पर पूरी दिल्ली को एकजुट होना होगा. कुछ देर बाद त्यागराज स्टेडियम में आयोजित महिला अदालत में हिस्सा लेकर सभी महिलाओं के साथ ही इस मुद्दे पर चर्चा करूंगा."
उन्होंने ये भी लिखा है कि जिनके कंधों पर कानून और व्यवस्था की जिम्मेदारी है, उन्हें इस कार्यक्रम को जरूर देखना चाहिए.
जानें महिला अदालत के मायने?
दरअसल, दिल्ली में पिछले कुछ दिनों से क्राइम की घटनाओं में बढ़ोतरी दर्ज की गई है. इसमें महिलाओं के खिलाफ अपराध भी शामिल हैं. आम आदमी पार्टी केंद्र सरकार और बीजेपी के सामने इस मसले को जोरदार तरीके से उठा रही है.
कानून व्यवस्था और महिला सुरक्षा को लेकर 14 दिसंबर को अरविंद केजरीवाल ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को एक चिट्ठी भी लिखी थी. उन्होंने इस पर चर्चा के लिए उनसे मिलने का समय भी मांगा था. रविवार को अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि उन्हें अभी तक इसके लिए गृह मंत्री की ओर कोई सूचना नहीं मिली है.
इसके बाद सीएम आतिशी ने 15 दिसंबर को दिल्ली में रोहिंग्याओं और बांग्लादेशी घुसपैठिए को बसाने के मसले पर अमित शाह को चिट्ठी लिखी थी. उन्होंने अमित शाह से इस दिशा में प्रभावी कदम उठाने की मांग की है. दरअसल, इसके पीछे आम आदमी पार्टी का मकसद देश की राजधानी दिल्ली में महिला सुरक्षा को लेकर पार्टी की प्रतिबद्धता को सबके सामने रखना है.
बता दें कि दिल्ली की महिलाओं को सशक्त बनाने के मकसद से बजट 2024-25 में महिलाओं को आप सरकार ने एक हजार रुपये देने का वादा किया था. इसके लिए अलग से बजट भी आवंटित किए गए थे. हालांकि, अलग-अलग कारणों से अभी तक इस पर दिल्ली सरकार अमल नहीं कर पाई.
अब आप प्रमुख अरविंद केजरीवाल और सीएम आतिशी ने कहा है कि दिल्ली की सभी महिलाओं को एक हजार रुपये प्रतिमाह देगी. इसका ऐलान खुद केजरीवाल कर चुके हैं. सीएम आतिशी ने कहा है कि आप सरकार कोशिश करेगी कि ये पैसे महिलाओं को चुनाव से पहले मिलने लग जाएं, अगर ऐसा संभव नहीं हुआ तो आगामी सरकार का गठन होते ही हमारी सरकार सभी महिलाओं को एक हजार रुपये प्रति माह देने का काम शुरू करेगी.
महिलाओं से संबंधित इन्हीं मसलों को लेकर रायशुमारी के लिए आम आदमी पार्टी ने सोमवार को महिला अदालत का आयोजन किया है. ताकि दिल्ली की आधी आबादी को यह संदेश दिया जा सके कि महिला सशक्तिकरण और सुरक्षा दिशा में महिला अदालत की अहमियत क्या है?
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