Delhi News: लैंडफिल साइट्स पर आग की घटनाएं रोकने के लिए दिल्ली सरकार ने तैयार की नौ सूत्री योजना, जानें डिटेल
कार्य योजना के तहत अत्यधिक ज्वलनशील मीथेन गैस के संचय को रोकने के लिए लैंडफिल स्थल पर छिद्रित पाइप लगाए जाएंगे. साथ ही लैंडफिल स्थलों पर जाने वाली गाड़ियों में स्पार्क अरेस्टर नामक उपकरण लगाए जाएंगे.
Delhi News: दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने गुरुवार को कहा कि अरविंद केजरीवाल सरकार ने लैंडफिल (कूड़े के पहाड़ों) स्थलों पर आग लगने की घटनाओं को रोकने के लिए नौ सूत्री कार्य योजना तैयार की है. इसमें लैंडफिल स्थलों पर कूड़ा बीनने वालों के प्रवेश को प्रतिबंधित करना और आसपास की सड़कों का निर्माण शामिल है, ताकि दमकल की गाड़ियां समय से वहां पहुंच सके.
मुंबई की लैंडफिल का किया दौरा
राय ने कहा कि दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति और दिल्ली नगर निगम के अधिकारियों को सड़े हुए कचरे से मीथेन गैस पर काबू के लिए मुंबई में स्थापित प्रणाली का अध्ययन करने और इसे राष्ट्रीय राजधानी में लगाने के लिए कहा गया है, ताकि लैंडफिल स्थलों पर आग लगने की घटनाओं को रोका जा सके. अधिकारियों ने मई में मुंबई में गोराई और देवनार लैंडफिल स्थल का दौरा किया था.
मंत्री ने कहा कि इन लैंडफिल स्थलों से लगातार मीथेन निकलती है. बढ़ते तापमान और शुष्क वातावरण लैंडफिल स्थलों पर आग लगने के मुख्य कारणों में से हैं. लैंडफिल में डाला जाने वाला गीला कचरा सड़ने पर मीथेन गैस पैदा करता है. गर्मी के मौसम में मीथेन अपने आप आग पकड़ लेती है और वह आग फैल जाती है क्योंकि कूड़े में कपड़ा और प्लास्टिक जैसी सामग्री होती है.
बनाई जाएगी बाउंड्री वॉल
कार्य योजना के तहत, अत्यधिक ज्वलनशील मीथेन गैस के संचय को रोकने के लिए लैंडफिल स्थल पर छिद्रित पाइप लगाए जाएंगे. उन्होंने कहा कि लैंडफिल स्थलों पर जाने वाली गाड़ियों में स्पार्क अरेस्टर नामक उपकरण लगाए जाएंगे जो इंजन से निकलने वाले गर्म कणों को रोकेंगे. राय ने कहा कि इन स्थलों पर कूड़ा बीनने वालों को प्रतिबंधित किया जाएगा और अनाधिकार प्रवेश रोकने के लिए चार दीवारी बनायी जाएगी. कचरा बीनने वालों के अनधिकृत प्रवेश को रोकने के लिए दिल्ली पुलिस, निगम स्टाफ और सुरक्षाकर्मियों के एक दल को लैंडफिल स्थलों पर तैनात किया जाएगा.
इन स्थलों पर ‘सक्शन-कम-जेटिंग मशीन’ लगाना, 50,000 लीटर क्षमता का भूमिगत जलाशय बनाना और दमकल की गाड़ियों के लिए आसपास की सड़कों का निर्माण भी कार्य योजना में शामिल है. मंत्री ने कहा कि दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण आग की घटनाओं को रोकने के लिए एक मानक संचालन प्रक्रिया तैयार करेगा. 29 मई को दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने नगर निगम के अधिकारियों को गाजीपुर, भलस्वा और ओखला लैंडफिल स्थलों पर कचरे के पहाड़ों को पूरी तरह से हटाने के लिए तीन दिनों के भीतर एक कार्य योजना प्रस्तुत करने का निर्देश दिया था.
'करेंगे स्थलों का दौरा'
सक्सेना ने गाजीपुर में लैंडफिल स्थलों का दौरा कर तीनों कचरा स्थलों को पूरी तरह से साफ करने के लिए एक निश्चित तिथि का उल्लेख करते हुए एक कार्य योजना तैयार करने के लिए अधिकारियों के एक दल का गठन करने का निर्देश जारी किया था. एक आधिकारिक बयान में कहा गया था कि निगम द्वारा प्रस्तुत की जाने वाली कार्य योजना की निगरानी स्वयं उपराज्यपाल द्वारा नियमित रूप से की जाएगी और अगर आवश्यक हो, तो वह वास्तविक प्रगति देखने के लिए स्थलों का दौरा करेंगे.
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