Delhi New Aggregators' Policy: दिल्ली सरकार ने कहा है कि उसने अपनी एग्रीगेटर नीति के संबंध में विभिन्न पक्षकारों से सुझाव मांगे हैं. इस नीति के तहत कैब एग्रीगेटर (कैब सेवा देने वाले) और डिलीवरी सेवाओं को चरणबद्ध तरीके से इलेक्ट्रिक वाहन अपनाना अनिवार्य किया गया है. दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने लोगों से नीति पर प्रतिक्रिया और टिप्पणियां भेजने में सक्रिय रूप से शामिल होने का आग्रह किया है. उन्होंने कहा कि बढ़ते वायु प्रदूषण को देखते हुए इसे तैयार किया गया है.


केंद्रीय वायु गुणवत्ता मिशन को प्रतिवेदन देगी दिल्ली सरकार


पर्यावरण मंत्रालय द्वारा जारी एक बयान में कहा गया कि यह सुनिश्चित करने के लिए कि वाहनों से होने वाला उत्सर्जन कम करने की दिशा में इस नीति का न सिर्फ राष्ट्रीय राजधानी में बल्कि राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में भी व्यापक असर रहे. दिल्ली सरकार केंद्रीय वायु गुणवत्ता मिशन (सीएक्यूएम) के समक्ष एक प्रतिवेदन भी देगी.


नीति में कहा गया है कि राइड एग्रीगेटर और डिलीवरी सेवाओं को यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि अगले तीन माह में उनके दस फीसदी नए दोपहिया वाहन और पांच फीसदी नए चार पहिया वाहन इलेक्ट्रिक हों. इसके अलावा उन्हें यह सुनिश्चित करना होगा कि मार्च 2023 तक सभी नए दोपहिया वाहनों में से 50 फीसदी और उनके बेड़े में नए चार पहिया वाहनों में से 25 फीसदी इलेक्ट्रिक हों. बयान में कहा गया है कि मसौदा नीति पर लोगों से 25 जनवरी 2022 से 60 दिन तक सुझाव और उनकी आपत्तियां मांगी गई हैं. इसके बाद इसे क्रियान्वयन के लिए अधिसूचित कर दिया जाएगा.


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