Delhi News: दिल्ली सरकार गंतव्य तक परिवहन उपलब्ध कराने के लिए जल्द ही दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (DMRC) की इलेक्ट्रिक बसों के बेड़े का अधिग्रहण करेगी. अधिकारियों ने यह जानकारी दी. मंत्रिमंडल ने हाल में डीएमआरसी की 100 मौजूदा बसों का अधिग्रहण करने का फैसला किया है और वह 2023 में परिवहन विभाग के तहत 380 अतिरिक्त ‘फीडर’ बसें भी चलाएगी.


परिवहन विभाग करेगा इन बसों का संचालन
दिल्ली सरकार ने एक बयान में कहा, ‘‘डीएमआरसी शास्त्री पार्क और मजलिस पार्क डिपो से पूर्वी और उत्तरी क्लस्टर में दिसंबर 2019 से फीडर ई-बसें परिचालित कर रही है. परिवहन विभाग दिल्ली इंटीग्रेटेड मल्टी-मॉडल ट्रांजिट सिस्टम के जरिये इन बसों का परिचालन करेगा.’’


बयान के अनुसार, ‘‘इसके अलावा, अतिरिक्त 380 इलेक्ट्रिक बसों के परिचालन के लिए छह मेट्रो स्टेशन को चुना गया है, जिनमें वेलकम, कोहाट एनक्लेव, रिठाला, नांगलोई, मुंडका और द्वारका शामिल हैं.’’


इसमें कहा गया है कि इन स्थानों पर डीएमआरसी द्वारा डिपो का निर्माण किया जाएगा. परिवहन विभाग फीडर बसों को प्रति किलोमीटर के आधार पर परिचालित करेगा और ऑपरेटर को प्रति दिन तय की गई दूरी के आधार पर भुगतान किया जाएगा. दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने कहा, ‘‘दिल्ली सरकार सार्वजनिक परिवहन को अधिक वहनीय, सुरक्षित और सुगम बनाने के लिए प्रतिबद्ध है.’’ 


1500 इलेक्ट्रिक बसों के लिए दिल्ली सरकार ने टाटा मोटर्स के साथ किया करार


इसके अलावा दिल्ली परिवहन निगम ने दिल्ली में 1500 ई-बसों के संचालन के लिए टाटा मोटर्स की शाखा के साथ समझौता किया है. समझौते के अनुसार, टीएमएल सीवी मोबिलिटी सॉल्यूशंस 12 साल की अवधि के लिए 12-मीटर लो-फ्लोर वातानुकूलित इलेक्ट्रिक बसों की 1,500 यूनिट्स की आपूर्ति, संचालन और उनका रखरखाव करेगी. समझौते के बाद टाटा मोटर्स द्वारा जारी किए गए एक बयान के मुताबिक दिल्ली परिवहन निगम की प्रबंध निदेशक आईएएस शिल्पा शिंदे ने कहा कि हम दिल्ली में 1,500 इलेक्ट्रिक बसों के सबसे बड़े ऑर्डर के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर करके प्रसन्न हैं.


यह शहर में इलेक्ट्रिक मोबिलिटी को अपनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है. उन्होंने कहा कि इलेक्ट्रिक बसों को अपनाने से शहर को जीरो कार्बन उत्सर्जन, शोर मुक्त और शहर की वायु गुणवत्ता को सुधारने में बहुत मदद मिलेगी.


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