Delhi High Court: दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा जीवनसाथी के साथ संबंध की अपेक्षा करना कानूनी अधिकार लेकिन..
Delhi News: दिल्ली हाईकोर्ट ने सोमवार को महिलाओं के यौन स्वायत्तता के अधिकार मामले पर सुनवाई की है. जिसमें कोर्ट ने अभी मामले पर गंभीरता से विचार करने को कहा है.
Delhi High Court: दिल्ली हाईकोर्ट ने सोमवार को महिलाओं के यौन स्वायत्तता के अधिकार को लेकर कई महत्वपूर्ण बातें कहीं. कोर्ट ने कहा कि महिलाओं के इस अधिकार के साथ कोई समझौता नहीं किया जा सकता है. बलात्कार की कोई भी घटना हो उसमें आरोपी को सजा मिलना जरुरी है, लेकिन इस दौरान वैवाहिक और गैर-वैवाहिक संबंध में गुणात्मक अंतर है. वैवाहिक संबंध पर कोर्ट ने कहा कि इसमें जीवनसाथी से उचित यौन संबंध की अपेक्षा करने का कानूनी अधिकार है. जिससे ये वैवाहिक बलात्कार के अपराध में छूट प्रदान कर करता है.
गंभीरता से विचार की जरुरत
दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को वैवाहिक मामले बलात्कार के अपराधिकरण की मांग रखने वाली याचिका पर सुनवाई कर रहा था. इस मामले में जस्टिस राजीव शकधर और जस्टिस सी हरिशंकर ने सुनवाई की. जिसमें जस्टिस सी हरिशंकर ने कहा, "वैवाहिक और गैर-वैवाहिक संबंध समानांतर नहीं हो सकते हैं. लड़का और लड़की चाहे कितने भी करीबी हों उनमें से किसी को भी एक दूसरे से यौन संबंध की उम्मीद करने का अधिकार नहीं है. लड़का या लड़की दोनों में से कोई भी यौन संबंध बनाने से इनकार कर सकता है." हालांकि उन्होंने बलात्कार के लिए दस साल की सजा होने के बाद भी कहा कि वैवाहिक बलात्कार में दी गई छूट को हटाने पर काफी 'गंभीरता से विचार' होना चाहिए. उन्होंने कहा कि पति पत्नी को मजबूर नहीं कर सकता है. लेकिन अदालत को ये समझना होगा कि इसे समाप्त करने का क्या परिणाम हो सकता है.
गैर सरकारी संगठनों की ये आपत्ति
जस्टिस हरिशंकर ने वैवाहिक बलात्कार के संबंध में आपत्ति व्यक्त की. उन्होंने कहा कि बलात्कार के हर मामले में दंड मिलना चाहिए. लेकिन पति और पत्नी के बीच अनिच्छुक यौन संबंध के मामले को वैवाहिक बलात्कार के रुप में स्वीकार करने के लिए विचार किए जाने की आवश्यता है. उनका मामना था कि इस शब्द का बार बार इस्तेमाल होने से ये वास्तविक मुद्दे को उलझा देता है. बता दें कि कुछ गैर सरकारी संगठनों ने आईपीसी की धारा 375 को चुनौती दी है. उनका कहना है कि वैवाहिक महिला के साथ पति द्वारा किए गए यौन उत्पीड़न के मामले में ये भेदभाव करती है.
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