Delhi News: दिल्ली (Delhi) और एनसीआर से रोजाना लाखों लोग अपने कामकाज के लिए मेट्रो में सफर करते हैं, लेकिन राजधानी दिल्ली के लिए बीते दो हफ्ते प्राकृतिक आपदाओं सहित अनेक चुनौतियों से भरे रहे. जुलाई महीने में हुई भारी बारिश और जलजमाव की वजह से सड़क मार्ग की बजाय ज्यादातर लोगों ने दिल्ली मेट्रो से सफर करने पर प्राथमिकता जताई है. डीएमआरसी (DMRC) द्वारा जारी हुए इस महीने के अब तक आंकड़ों के अनुसार, दिल्ली मेट्रो की समयपालन दर 99.87 फीसदी दर्ज की गई है .


इसके अलावा दिल्ली मेट्रो से पैसेंजर जर्नी ने भी इस बार रिकॉर्ड आंकड़े को पार कर लिया है. डीएमआरसी द्वारा एबीपी न्यूज को दी गई जानकारी के अनुसार, जुलाई के पहले दो सप्ताह के कार्य दिवस यानी सोमवार से शुक्रवार के दौरान पैसेंजर जर्नी ने कई बार  60 लाख का रिकॉर्ड आंकड़ा पार किया है, जबकि ऐसा आंकड़ा सिर्फ सोमवार के दिन ही देखने को मिलता था.  इसके अलावा डीएमआरसी ने इस महीने अब तक समय पर चलने वाली ट्रेनों के समयपालन दर में भी 99.87 फीसदी का आंकड़ा छू लिया है.


बारिश में मेट्रो बनी मददगार
ये आंकड़े बताते हैं कि जुलाई महीने में हुई रिकॉर्ड बारिश और यमुना में आई बाढ़ से हजारों लोगों का जनजीवन बाधित होने के बाद लोगों ने दिल्ली मेट्रो के सुविधाजनक सफर को प्राथमिकता दी है. डीएमआरसी द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, पिछले दो दिनों से यमुना नदी के आसपास वाली मेट्रो डिपो की ट्रेन मेन लाइन पर खड़ी हो रही है, जिसमें रेड लाइन, येलो लाइन,  ब्लू लाइन और मैजेंटा लाइन शामिल है. डीएमआरसी द्वारा यह तय किया है कि इन डिपो में अगर पानी भर जाता है या जलजमाव जैसी कोई समस्या आती है, तो वो  मुख्य लाइन पर पहले से ही खड़ी इन मेट्रो ट्रेनों के साथ अपने लाइनों पर बेहतर सेवाएं प्रदान कर सकेगी.


वहीं डिपो में पानी भर जाने के कारण मुख्य लाइन तक ट्रेनों की आवाजाही काफी मुश्किल हो सकती है. इसके अलावा डीएमआरसी द्वारा अपने सिस्टम और उपकरणों की सुरक्षा पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है. साथ ही अधिक बारिश के कारण उत्पन्न होने वाले आपातकालीन स्थितियों के लिए तैयारियों और योजनाओं की भी समीक्षा की जा रही है.


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