Kailash Gahlot visited Tihar Jail: दिल्ली के गृह मंत्री कैलाश गहलोत ने शनिवार को तिहाड़ जेल नंबर-तीन और छह का दौरा किया. इस दौरे का मकसद जेलों के अंदर सुधारात्मक व्यवस्था में बदलाव के प्रति दिल्ली सरकार की प्रतिबद्ध को और मजबूत करना था. इस दौरान गृहमंत्री ने कैदियों के रहने की स्थिति में सुधार लाने, कर्मचारियों के कल्याण और सुविधाओं को और बेहतर करने की दिल्ली सरकार की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला.
दिल्ली के गृह मंत्री कैलाश गहलोत के साथ गृह सचिव चंचल यादव, जेल महानिदेशक सतीश गोलचा, अतिरिक्त महा निरीक्षण कारागार डॉ. अजय कुमार बिष्ट, जेल उप महा निदेशक राजीव सिंह समेत जेल विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे.
कैदियों को मुहैया कराएं जरूरी सुविधाएं
दिल्ली के गृहमंत्री कैलाश गहलोत ने कहा कि तिहाड़ जेल दौरे के दौरान कैदियों को दी जा रही बुनियादी सुविधाओं का निरीक्षण किया. सीएम अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में दिल्ली सरकार जेलों में सुधार के लिए प्रतिबद्ध है. तिहाड़ जेल का हमारा यह दौरा जेल की स्थितियों में सुधार लाने और यह सुनिश्चित करने की दिशा में एक और कदम है कि कैदियों को आवश्यक संसाधन मुहैया कराए जाएं, जिससे कि वो खुद को सुधारें.
हमारा मानना है कि प्रत्येक व्यक्ति में हमेशा सुधार करने की क्षमता होती है और उसे ऐसा करने के लिए जरूरी संसाधन उपलब्ध कराना हमारी जिम्मेदारी है. मुझे विश्वास है कि हमारी सरकार, जेल अधिकारियों और नागरिकों के सामूहिक प्रयासों से हम एक न्यायपूर्ण और न्यायसंगत समाज का निर्माण कर सकते हैं.
व्यावसायिक प्रशिक्षण पर जोर
सेंट्रल जेल नंबर छ (महिला बैरक) के निरीक्षण के दौरान गृह मंत्री कैलाश गहलोत ने व्यावसायिक प्रशिक्षण इकाई, सिलाई, आभूषण उत्पादन और क्रेच समेत कई प्रमुख क्षेत्रों का निरीक्षण किया. उन्होंने कैदियों को व्यावसायिक प्रशिक्षण देने वाले गैर सरकारी संगठनों की सराहाना की. इस बात पर बल दिया कि कैसे ये कार्यक्रम जेल से बाहर आने के बाद कैदियों के पुनर्वास में मददगार साबित होंगे.
कैलाश गहलोत ने महिला कैदियों के लिए उपलब्ध चिकित्सा सुविधाओं की भी समीक्षा की और मेडिकल रिकॉर्ड के डिजिटलीकरण की आवश्यकता पर बल दिया, जिसे वो राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र (एनआईसी) के साथ लेने की योजना बना रहे हैं.
इसके बाद गृह मंत्री ने सेंट्रल जेल नंबर 3 का भी दौरा किया, जहां उन्होंने गौशाला, लंगर (सामुदायिक रसोई) और 120 बिस्तरों वाले अस्पताल का निरीक्षण किया. मंत्री ने कैदियों के लिए तैयार किए गए भोजन की स्वच्छता और गुणवत्ता की सराहना की और अस्पताल की क्षमता और सुविधाओं के विस्तार की जरूरत पर बल दिया.
कैलाश गहलोत ने जेल में सुधार को लेकर दिए ये निर्देश
गृह मंत्री कैलाश गहलोत ने तिहाड़ जेल में विजिटर्स के लिए इलेक्ट्रिक वाहन की सुविधा शुरू करने का प्रस्ताव दिया. यह पहल दिल्ली सरकार के ‘ग्रीन ट्रांसपोर्टेशन’ को बढ़ावा देने और कार्बन फुटप्रिंट कम करने की मुहिम के अनुरूप है.
जेल फैक्ट्रियों की समीक्षा
गृह मंत्री कैलाश गहलोत ने विभिन्न जेल फैक्ट्रियों के संचालन की समीक्षा की और उनकी उत्पादकता को बढ़ाने पर जोर दिया. उन्होंने प्रस्ताव दिया कि उत्पादन प्रबंधन, क्षमता और उत्पादों के विपणन में सुधार के लिए इन कारखानों को सोसायटी पंजीकरण अधिनियम के तहत पंजीकृत किया जाना चाहिए.
कौशल विकास
कैदियों के पुनर्वास पर जोर देते हुए कैलाश गहलोत ने कैदियों को समाज की मुख्य धारा में शामिल करने के लिए गहन कौशल विकास कार्यक्रमों के विस्तार का निर्देश दिया. व्यावसायिक प्रशिक्षण और पुनर्वास प्रयासों को बढ़ाने के लिए जेल विभाग कई संगठनों के साथ सहयोग कर रहा है.
जेलों में भीड़भाड़ कम करने पर जोर
इस दौरान जेल मंत्री कैलाश गहलोत ने दिल्ली की जेलों में बढ़ रही कैदियों की भीड़भाड़ की भी जानकारी ली. इस संबंध में जेल मंत्री ने नरेला में प्रस्तावित जेल के निर्माण में तेजी लाने और बापरोला में जेल के लिए भूमि अधिग्रहण करने में गति लाने पर जोर दिया.
मेंटल हेल्थ प्रोग्राम
आप सरकार में गृह मंत्री कैलाश गहलोत ने कैदियों को गुणवत्तापूर्ण देखभाल सुनिश्चित करने के लिए शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य दोनों पर ध्यान केंद्रित करते हुए एक व्यापक स्वास्थ्य कार्यक्रम चलाने का प्रस्ताव रखा. दिल्ली की सभी जेलों में एक व्यापक मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम शुरू किया जाएगा. गृह मंत्री कैलाश गहलोत ने जेल परिसर में विभिन्न शौचालय ब्लॉकों का भी निरीक्षण किया और पीडब्ल्यूडी अधिकारियों को आपातकालीन आधार पर आवश्यक नवीकरण और मरम्मत करने का निर्देश दिया.
जेल स्टाफ की पदोन्नति
जेल कर्मचारियों की कड़ी मेहनत को सराहा और उनका मनोबल बढ़ाने व सुधारात्मक सेवाओं के अंदर प्रतिभा को बनाए रखने के लिए पदोन्नति के अवसर प्रदान करने का प्रस्ताव दिया.
जेल मंत्री ने क्यों किया जेल का दौरा?
गृह मंत्री के दौरे का उद्देश्य कैदियों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने, कौशल विकास, स्वास्थ्य पहल, मनोवैज्ञानिक मदद और समाज की मुख्यधारा में लाने को लेकर चलाए जा रहे कार्यक्रमों पर ध्यान केंद्रित करना था, जो केजरीवाल सरकार प्रतिबद्धता को दर्शाता है. इसका व्यापक लक्ष्य दिल्ली की केंद्रीय जेलों को पुनर्वास और सुधारात्मक संस्थानों में बदलना है.
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