Delhi: प्रदूषण से परेशान लोगों ने की 84 हजार से ज्यादा शिकायतें, MCD ने कितने मामलों का किया समाधान?
Delhi Pollution: ग्रीन दिल्ली ऐप के माध्यम से प्रदूषण से संबंधित 84,765 शिकायतें प्राप्त हुई हैं, जिनमें से PWD ने 10,803 (87.64%) और DDA ने 4,424 (92.26%) शिकायतों का समाधान किया है.
Delhi News: दिल्ली सरकार को इस साल अब तक 'ग्रीन दिल्ली ऐप' के माध्यम से प्रदूषण से संबंधित 84,765 शिकायतें प्राप्त हुई हैं. दिल्ली नगर निगम (MCD), लोक निर्माण विभाग (PWD) और दिल्ली विकास प्राधिकरण (DDA) वह नागरिक एजेंसी हैं जो अधिकतर शिकायतों का निस्तारण कर रही है. एमसीडी में सबसे अधिक 54,878 शिकायतें आईं, जिनमें से 46,279 (84.33 प्रतिशत) शिकायतों का समाधान किया जा चुका है, जबकि 8,599 शिकायतें लंबित हैं.
पीडब्ल्यूडी को 12,327 शिकायतें प्राप्त हुईं, जिनमें से 10,803 (87.64 प्रतिशत) शिकायतों का समाधान किया गया और 1,524 शिकायतें लंबित हैं. डीडीए की ओर से दर्ज की गईं 4,795 शिकायतों में से 4,424 (92.26 प्रतिशत) का निस्तारण कर दिया गया और 371 शिकायतें अब भी लंबित हैं. यह आंकड़े दिल्ली सरकार के पर्यावरण विभाग के अंतर्गत दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) द्वारा बनाए गए 'ग्रीन दिल्ली ऐप' पर उपलब्ध विभागवार शिकायत पर आधारित है.
2020 में शुरू हुआ 'ग्रीन दिल्ली ऐप'
दिल्ली सरकार ने 2020 में 'ग्रीन दिल्ली ऐप' को शुरू किया और इस ऐप के जरिए लोग तस्वीरें या वीडियो अपलोड करते हुए स्थान चिन्हित करके और शिकायत की प्रकृति निर्दिष्ट करके प्रदूषण के मुद्दों की शिकायत कर सकते हैं. समाधान के लिए शिकायतों को संबंधित नागरिक एजेंसी के पास भेज दिया जाता है और उपयोगकर्ता अपनी शिकायतों पर जानकारी प्राप्त कर सकते हैं.
इसमें सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग के पास आईं 2,032 शिकायतों में से 91.98 प्रतिशत हल हुईं, राजस्व विभाग के पास आई 1,041 शिकायतों में से 84.53 प्रतिशत का निस्तारण कर दिया गया और दिल्ली जल बोर्ड के पास आईं 3,056 शिकायतों में से 97.94 प्रतिशत हल हो गई हैं. दिल्ली यातायात पुलिस को 362 शिकायतें प्राप्त हुईं, जबकि दिल्ली मेट्रो रेल निगम को 564 शिकायतें प्राप्त हुईं. कुल शिकायतों में से 10,656 को उस श्रेणी में वर्गीकृत किया गया है जिसका समय पर निस्तारण नहीं किया गया है, जिसमें एमसीडी में अकेले ही ऐसे 8,322 मामले हैं.
नवंबर में साल का सबसे गंभीर वायु प्रदूषण स्तर दर्ज
प्रदूषण नियंत्रण प्राधिकरण के अनुसार, नवंबर में दिल्ली में साल का सबसे गंभीर वायु प्रदूषण स्तर दर्ज किया गया. जब वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 491 तक पहुंच गया था तो दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने उस स्थिति को चिकित्सा आपातकाल बताया था. दिल्ली सरकार ने संकट को कम करने के लिए स्कूलों को बंद करने, निर्माण गतिविधियों को रोकने और वाहनों की आवाजाही पर प्रतिबंध लगाने जैसे आपातकालीन उपाय लागू किए.