Delhi में एक शख्स ने दोस्तों के साथ मिलकर किया भांजे का अपहरण, पुलिस के साथ करता रहा बच्चे की 'तलाश'
Delhi Crime: डीसीपी मनोज कुमार मीणा के अनुसार जांच टीम ने अपराधी के बारे में सुराग पाने के लिए गुप्त स्रोत बनाए और अपहृत बच्चे को बरामद कर लिया. बच्चे के अपहरण का मुख्य साजिशकर्ता उसका मामा निकला.
Delhi Crime News: अपराधिक घटनाओं के मामले में दिल्ली न केवल अव्वल है बल्कि इस काम में लिप्त लोग नये-नये तरीके भी ईजाद करते रहते हैं. शास्त्री नगर से एक बच्चे के अपहरा का मामला भी कुछ वैसा ही है. इस मामले में तीन लाख रुपये की फिरौती के लिए सात साल के लड़के का अपहरण किए जाने की घटना के बाद लड़के के मामा समेत तीन लोगों के खिलाफ पुलिस ने मामला दर्ज किया है. आरोपियों की पहचान 25 वर्षीय विकास, 27 वर्षीय शिवम पाल और 25 वर्षीय दीपक के रूप में की है.
विकास निकला अपहरण का मास्टरमाइंड
दिल्ली पुलिस अधिकारियों ने कहा कि विकास अपहृत लड़के का मामा है. उसने लड़के के पिता के साथ जोमैटो में काम कर चुके शिवम और उसके साथी दीपक के साथ मिलकर अपने भांजे के अपहरण की योजना बनाई और अपराध करने से पहले रेकी भी की. शास्त्री नगर निवासी सुनील कुमार 19 दिसंबर को अपने बेटे के लापता होने की रिपोर्ट दर्ज कराने थाने आए थे, उन्होंने पुलिस को बताया कि उन्हें 3 लाख रुपये फिरौती लेकर झंडेवालान मंदिर के पास आने के लिए फोन आया था.
नॉर्थ दिल्ली के डीसीपी मनोज कुमार मीणा के अनुसार जांच के दौरान टीम ने अपराधी के बारे में सुराग पाने के लिए अपने गुप्त स्रोत बनाए और विभिन्न सीसीटीवी फुटेज का विश्लेषण किया. पुलिस के त्वरित व लगातार प्रयास रंग लाए और टीम ने पीड़ित बच्चे को बचा लिया. बच्चा ओल्ड राजेंद्र नगर इलाके में मिला. आरोपी शिवम और दीपक को पकड़ लिया गया है.
ऐसे किया अपहरण
डीसीपी के मुताबिक पूछताछ करने पर पता चला कि दीपक और शिवम ने बच्चे को कुछ खाने की चीजें देकर उससे दोस्ती की और बच्चे को अपनी बाइक पर बिठाकर भाग गए. वे बच्चे को दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर ले गए और उसके पिता को फिरौती के लिए फोन किया. दूसरी तरफ विकास बच्चे की तलाश के दौरान पुलिस के साथ रहा. वह बच्चे का शुभचिंतक होने का दिखावा करता रहा. मगर पुलिस के सभी प्रयासों पर नजर रख रहा था. वह आरोपी व्यक्तियों को व्हाट्सएप के जरिए पुलिस के हर कदम के बारे में सूचित कर रहा था. उसे भी गिरफ्तार कर लिया गया है.
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