Delhi News:  दिल्ली की कड़कड़डूमा कोर्ट (Delhi court ) ने पूर्वोत्तर दिल्ली में तीन साल पहले दंगों (Delhi Riots 2023) के दौरान एक दिल्ली पुलिसकर्मी पर पिस्तौल तानने और उनकी हत्या की धमकी देने के कारण खबरों में रहे शाहरुख पठान (Shahrukh Pathan) को शनिवार को सशर्त जमानत (Bail) दे दी. हालांकि, शाहरूख पठान को अभी जेल में ही रहना होगा, क्योंकि वह दंगे के एक अन्य मामले में आरोपी है.


50 हजार के जमानती बॉंड पर दी जमानत


कंड़कड़डूमा कोर्ट के अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश अमिताभ रावत ने शनिवार को पठान की जमानत अर्जी पर आदेश सुनाया. पठान पर दंगाई भीड़ का हिस्सा होने का आरोप है. उसने एक व्यक्ति को गोलीबारी में घायल कर दिया था. कथित घटना 24 फरवरी 2020 को मौजपुर चौक के पास हुई थी. अदालत ने पठान को जमानत के लिए शर्त के रूप में 50,000 रुपये का निजी जमानती बॉंड और इतनी ही राशि की दो मुचलके भरने का निर्देश दिया है. 


3 अप्रैल 2020 से हिरासत में है शाहरुख


अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश अमिताभ रावत ने कहा, 'अदालत इस तथ्य से अवगत है कि इस मामले में गिरफ्तार होने से पहले और यहां तक ​​कि मुकदमे के दौरान, न्यायिक हिरासत में भी आरोपी का आचरण अत्याचारपूर्ण रहा है. हालांकि, यह एक तथ्य है कि वह तीन अप्रैल, 2020 से न्यायिक हिरासत में हैं.'


53 लोगों की हुई थी मौत


दरअसल, जाफराबाद पुलिस थाने ने पठान और अन्य के खिलाफ दंगा और हत्या के प्रयास सहित भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की विभिन्न धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की थी, जिसके बाद दिसंबर 2021 में उनके खिलाफ आरोप तय किए गए थे. साल 2020 उत्तर-पूर्वी दिल्ली के दंगे 23 फरवरी 2020 की रात से शुरू होकर उत्तर पूर्व दिल्ली के जाफराबाद इलाके में खूनी हिंसा, बड़े पैमाने पर संपत्ति को नुकसान, लूटपाट, तब्दील हो गई थी. हिंसा की घटना में 53 लोग मारे गए थे. 200 से अधिक लोग घायल हुए थे. यह दंगे मुख्यतः हिंदू भीड़ द्वारा मुसलमानों पर हमला करने से हुई थी.


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