भीषण गर्मी के बीच दिल्ली में पानी पर सियासत, आतिशी बोलीं- हरियाणा नहीं दे रहा हमारे हक का पानी
Delhi Water Crisis: जल मंत्री आतिशी ने कहा कि हम दिल्ली को जल संकट से जूझते हुए नहीं देख सकते. इसलिए हरियाणा और केंद्र सरकार को दोबारा चिट्ठी लिख रहे हैं.
Delhi Water Crisis: दिल्ली में पड़ रही भीषण गर्मी के बीच राजधानी में गंभीर जल संकट गहरा रहा है. इसके साथ ही अब इसे लेकर सियासत भी शुरू हो गई है. दिल्ली सरकार इसके लिए हरियाणा की बीजेपी सरकार को दोषी ठहरा रही है. दिल्ली सरकार की जल मंत्री आतिशी ने हरियाणा सरकार पर दिल्ली के हिस्से के पानी मे भारी कटौती करने का आरोप लगाया है.
इस बीच मंत्री आतिशी वजीराबाद तालाब का निरीक्षण करने पहुंची, जहां उन्होंने हरियाणा सरकार पर दिल्ली के हक का पूरा पानी नहीं देने का आरोप लगाया. आतिशी ने कहा, "दिल्ली के हक का पानी नहीं मिलने के कारण यमुना का जल स्तर समान्य से 3.5 फीट से ज्यादा नीचे चला गया है. आज यमुना का समान्य जल स्तर 674 फीट से घटकर 670.3 फीट पर आ गया है. इससे कई इलाकों में पानी को लेकर त्राही-त्राही मची हुई है."
उन्होंने बताया कि हरियाणा से यमुना में छोड़े जाने वाला पानी वजीराबाद, चंद्रावल एवं ओखला वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट को मिलता है और यहां उस पानी को ट्रीट कर घरों में भेजा जाता है. लेकिन जब हरियाणा से पानी ही कम मिलेगा तो वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट कहां से पानी उत्पादित करेंगे?
अफसरों को बेहतर तरीके से जल प्रबंधन करने का निर्देश
जल मंत्री आतिशी ने कहा, "हम दिल्ली को जल संकट से जूझते हुए नहीं देख सकते. इसलिए हरियाणा और केंद्र सरकार को दोबारा चिट्ठी लिख रहे हैं. साथ ही, दिल्लीवालों से अपील है कि अगर आप सावधानी से पानी का इस्तेमाल करते हैं तो हम बाकी हिस्सों को भी पानी सप्लाई कर पाएंगे."
इस दौरान उन्होंने दिल्ली जल बोर्ड के अफसरों को बेहतर तरीके से जल प्रबंधन करने का निर्देश दिया, ताकि दिल्ली के हर इलाके तक लोगों के जरूरत का साफ पानी मुहैया कराया जा सके.
ये हरियाणा की मनमानी- आतिशी
आतिशी ने कहा कि दिल्ली अपनी पूरी पानी की सप्लाई के लिए यमुना नदी पर निर्भर है. यमुना नदी में वही पानी आता है जो हरियाणा से छोड़ा जाता है. उन्होंने बताया कि यहां 674 फीट पर पानी का स्तर होना चाहिए, लेकिन यहां लगे वॉटर मीटर से पता चल रहा है कि गुरुवार को वजीराबाद तालाब का जल स्तर अपने सामान्य स्तर से 3.5 फीट से ज्यादा नीचे आ गया है. आज वजीराबाद में यमुना का जल स्तर 670.3 फीट पर है. जबकि पिछले साल 30 मई 2023 को वजीराबाद पर जल स्तर 674.5 फीट पर था.
उन्होंने कहा कि अगर हरियाणा पानी नहीं छोड़ेगा तो यमुना को पानी नहीं मिलेगा, इस कारण प्लांट को भी ट्रीट करने के लिए पानी नहीं मिल पायेगा. आतिशी ने कहा कि वे हरियाणा और केंद्र सरकार को आज फिर से चिट्ठी लिखेंगे. हरियाणा की इस मनमानी की वजह से देश की राजधानी को पानी के संकट में नहीं डाला जा सकता है.
वहीं मंत्री आतिशी ने बीजेपी द्वारा समर एक्शन प्लान और वॉटर राशनिंग न करने के आरोप पर कहा कि पानी की राशनिंग तब की जाती है, जब पानी की खपत बढ़ती है और उस हिसाब से मौजूदा पानी की सप्लाई को मैनेज किया जाता है. इसके लिए पानी के टैंकर्स का प्लान बनाया है, अलग-अलग एरिया में पानी का सप्लाई कम किया जाता है. लेकिन समर एक्शन प्लान भी इसी पर निर्भर करता है कि पानी की सप्लाई सामान्य स्तर पर बना रहे.
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