Delhi Weather and Pollution Today: दिल्ली में प्रदूषण की स्थिति गंभीर, सांस लेना आज भी खतरनाक, मौसम रहेगा साफ
मौसम विभाग के अनुसार आने वाले दिनों में मौसम और शुष्क होगा. मंगलावर को यानी आज अधिकतम तापमान 29 और न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस रहने की संभावना है.
Delhi Weather and Pollution Today: दिल्ली के मौसम में सर्दी के बढ़ने का सिलसिला जारी है और यहां मिनिमम तापमान में कमी हो रही है, जिससे ठंड बढ़ रही है. मौसम विभाग के अनुसार आने वाले दिनों में मौसम और शुष्क होगा. मंगलावर को यानी आज अधिकतम तापमान 29 और न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस रहने की संभावना है. इस बीच मौसम साफ रहेगा और हलकी धूप भी होगी.
हवा में नमी का स्तर 56 से 72 फीसद रहने का अनुमान है. मंगलावर सुबह ज्यादातर इलाकों में धुंध छाई रही, जिसके चलते विजिबिलिटी 0.8 किलोमीटर तक चली गई. इस बीच भारतीय मौसम विज्ञान विभाग का पूर्वानुमान है कि दिल्ली एनसीआर में मंगलवार को दिनभर मौसम साफ और शुष्क रहेगा और यह स्थिति अगले कुछ दिनों तक ऐसी ही बनी रहेगी.
मौसम विभाग का यह भी पूर्वानुमान है कि मंगलवार को 10 से 15 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलेंगी. दो दिन बाद दिल्ली एनसीआर में बादल छाए रहने का भी अनुमान है. दूसरी तरफ UV घातांक सुबह में 10 में से 6 जबकि शाम में 10 में शुन्य रह सकता है. आज दिल्ली में सूर्योदय 06:39 मिनट पर हुआ जबकि सूर्यास्त 17:30 पर होगा. बारिश की संभावना बहुत कम है और मात्र 1 प्रतिशत ही अनुमान है.
वहीं दिल्ली में प्रदूषण का स्तर कम नहीं हो रहा है. पहले पटाखा और अब पराली की वजह से यहां की वायु गुणवत्ता गंभीर स्तर पर है और एक्यूआई इस समय 404 है. वायु गुणवत्ता सूचकांक दिल्ली समेत एनसीआर के सभी शहरों में लगभग 400 के आसपास है. पीएम2.5 मानक से बढ़कर 331.85 माइक्रोग्राम प्रति घनमीटर तक चला गया है.
दिल्ली में पीएम2.5 को बढ़ाने वाले क्षेत्रों की बात करें तो परिवहन- 41, उद्योग- 22.3, ऊर्जा- 3.1, आवासीय- 5.7, निर्माण स्थल- 18.1 और अन्य 11.7 की हिस्सेदारी है.
एक्यूआई मानक और उसके स्वास्थ्य पर प्रभाव
0 से 50- साफ
50 से 100-संतोषजनक (रोगियों को सांस की हल्की दिक्कत)
100 से 200-औसत (दिल, अस्थमा व फेफड़ों के मरीजों को सांस लेने में परेशानी)
200 से 300- खराब (अधिक समय तक संपर्क में रहने पर सांस संबंधी दिक्कत)
300 से 400-बहुत खराब (अधिक समय तक संपर्क में रहने पर सांस संबंधी बीमारियां होना)
400 से 500- गंभीर (स्वस्थ लोगों पर भी प्रभाव व मरीजों में गंभीर दुष्परिणाम)
500 से अधिक-आपातकालीन स्थिति (शरीर के अंगों पर गंभीर दुष्परिणाम)
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