Exclusive: आचार्य प्रमोद कृष्णम का विपक्ष से सवाल, 'नेहरू-इंदिरा जब विदेश जाते थे तब क्या BJP ऐसे ही सवाल खड़ा करती थी?'
Modi Egypt Visit: आचार्य प्रमोद कृष्णम ने कहा कि आज पीएम मोदी के दौरे के दौरान ही विपक्ष की ओर से तरह-तरह के सवाल खड़े किए जा रहे हैं, जो ठीक नहीं है.
Acharya Pramod News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विदेश दौरे को लेकर विपक्ष लगातार हमलावर है. वजह चाहे पीएम मोदी के विदेश में हुए शानदार स्वागत की हो, या अखबारों में आई खबरों की, विपक्ष केंद्र की भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधने में कोई कसर नहीं छोड़ रहा है. पटना में हुई विपक्षी एकजुटता की मीटिंग के बाद हमले और ज्यादा बढ़ गए हैं. इस सब के बीच कांग्रेस नेता आचार्य प्रमोद कृष्णम का एक ट्वीट लगातार वायरल हो रहा है जिसमें उन्होंने पीएम मोदी की वीडियो शेयर करते हुए कैप्शन में 'विजयी विश्व “तिरंगा” प्यारा, झण्डा “ऊँचा” रहे हमारा' लिखा है.
'देश में कभी भी ऐसी परंपरा नहीं रही'
इसको लेकर ABPLIVE ने जब आचार्य प्रमोद से बातचीत की तो वे विपक्ष पर ही हमलावर हो गए. आचार्य प्रमोद कृष्णम ने कहा कि नरेंद्र मोदी बीजेपी के पीएम नहीं हैं, बल्कि देश के प्रधानमंत्री हैं. लेकिन आज स्थिति यह है कि विपक्षी मोदी का विरोध करते-करते देश का विरोध करने लगा है. उन्होंने कांग्रेस के साथ-साथ विपक्षी पार्टियों से पूछा कि क्या नेहरू, इंदिरा, राजीव गांधी, मनमोहन सिंह जब विदेश दौरे पर जाते थे, तब का विपक्ष क्या ऐसे ही विरोध करता था? देश में कभी ऐसी परंपरा नहीं रही है. तब के पीएम जब विदेश दौरों से आते थे, तब संसद में विपक्ष की ओर से सवाल किया जाता था कि आपने देश के लिए क्या किया? क्या लेकर या क्या करार करके आए? यदि पीएम विदेश दौरे पर जाएं तो उनकी आलोचना नहीं होना चाहिए. वापस आने के बाद जो सवाल करना है कीजिए. नरसिम्हा राव जब पीएम थे, तब अटल बिहारी वाजपेयी को देश का प्रतिनिधित्व करने के लिए भेजा था, ऐसी परंपरा बनी रहनी चाहिए.'
'नई संसद के उद्घाटन पर भी था यही रवैया'
आचार्य प्रमोद ने कहा कि इससे पहले भी ऐसे ही जब देश की संसद का उद्घाटन हो रहा था तो विपक्ष की ओर से उसका बहिष्कार किया गया. यह ठीक नहीं है. देश की संसद कोई मोदी का है? यह तो देश की भव्य इमारत है, जिसका स्वागत किया जाना चाहिए. क्या विपक्ष के सांसद नए संसद भवन में नहीं जाएंगे? आचार्य प्रमोद की तरह हिमाचल प्रदेश में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली सरकार में लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह भी प्रधानमंत्री की तारीफ करते हुए नजर आए थे. उन्होंने अपनी एक पोस्ट में प्रधानमंत्री के दौरे को गौरवपूर्ण पल बताते हुए लिखा था कि 'एक भारतीय होने के नाते यह पल हमारे लिए गौरवपूर्ण है. राजनीतिक विचारधारा अपनी जगह है. मगर अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत की एकता और प्रबलता के लिए हम सब एक हैं. हिन्दुस्तान का झंडा हमेशा बुलंद रहे.'
राहुल गांधी ने ट्वीट कर उठाए थे सवाल
पीएम मोदी के विदेश दौरे पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ट्वीट करते हुए सवाल उठाए थे. उन्होंने लिखा था कि, '50 दिनों से जल रहा है मणिपुर, मगर प्रधानमंत्री मौन रहे. सर्वदलीय बैठक तब बुलाई जब प्रधानमंत्री खुद देश में नहीं हैं! साफ है, प्रधानमंत्री के लिए ये बैठक महत्वपूर्ण नहीं है.' कांग्रेस लगातार मणिपुर के मुद्दे पर केंद्र को घेर रही है. लेकिन असल में कांग्रेस को यह बात नहीं पच रही है कि जवाहर लाल नेहरू को 17 साल प्रधानमंत्री पद पर रहने, इंदिरा गांधी को 15 साल तक पीएम रहने और मनमोहन सिंह को 10 साल प्रधामंत्री पद पर रहने के बावजूद जो सम्मान नहीं मिला, वो मोदी को उनके 9वे साल में ही मिल गया. भारत के लिए यह गौरवशाली पल था जब प्रधानमंत्री को दूसरी बार अमेरिकन कांग्रेस को संबोधित करने का मौका मिला.
आज मिस्र के राष्ट्रपति से होगी मुलाकात
बताते चलें कि 20 जून को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का विदेश दौरा शुरू हुआ. सबसे पहले वे न्यूयॉर्क पहुंचे. वहां UN मुख्यालय में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के कार्यक्रम में हिस्सा लिया, जिसके बाद 22 जून को वाइट हाउस में उनका औपचारिक स्वागत किया गया. यहां उन्होंने अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन से भी मुलाकात की. इसके बाद रात में अमेरिकी राष्ट्रपति और जिल बाइडेन के आवास पर स्टेटस डिनर में वे शामिल हुए. फिर 23 जून को अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस और विदेश मंत्री एंटनी बिल्नकेन के साथ PM मोदी ने लंच किया. यहां प्रधानमंत्री मोदी अमेरिका के बड़े-बड़े CEOs, प्रोफेशनल्स और बाकी स्टेकहोल्डर्स से भी मिले. इसके साथ ही पीएम मोदी अमेरिकी दौरा पूरा करके मिस्र की यात्रा के लिए काहिरा रवाना हो गए. प्रधानंमत्री नरेंद्र मोदी आज मिस्र के राष्ट्रपति अल सीसी से मुलाकात करने वाले हैं.