Monkeypox Casess In Delhi: इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR)-नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) द्वारा किए गए एक प्रारंभिक अध्ययन के अनुसार, दिल्ली में मिले मंकीपॉक्स (Monkeypox) के पांच रोगियों ने समलैंगिक (Homosexual) या उभयलिंगी (Bisexual) सेक्स  करने से इनकार किया, जबकि तीन संक्रमितों ने  विषमलैंगिक (Heterosexual) सेक्स की बाद कबूली है. अध्ययन में कहा गया है कि इन पांच रोगियों ने से तीन ने शुरुआती लक्षणों के 21 दिन के भीतर विषमलैंगिक संबंध बनाने की बात कुबूल की है. हालांकि इन्होंने किसी शराब या दवा का सेवन नहीं किया था. इसके अलावा बाकी दो लोगों ने  किसी भी प्रकार के संबंध बनाने से इंकार किया है.



पांचों ने नहीं की कोई विदेश यात्रा


अध्ययन में कहा गया कि इन सभी संक्रमितों में हल्के बुखार, मांसपेशियों में दर्द और जननांगों, कमर, निचले अंगों, धड़ और ऊपरी अंग पर घाव मिले हैं. इन सभी में बीमारी से अच्छी रिकवरी भी देखने को मिली है. दरअसल आईसीएमआर-एनआईवी पुणे, मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज और एम्स के विशेषज्ञों ने दिल्ली में मंकीपॉक्स के मिले पांच मरीजों पर शोध किया था. शोध में यह भी सामने आया कि इन पांचों को विदेश यात्रा का भी कोई इतिहास नहीं है.


मंकीपॉक्स के मामलों का निदान हो सकता है कठिन


अध्ययन में सुझाव दिया गया है कि यदि हमने गे सेक्स करने या महिला सेक्स वर्करों, जिन्हें मंकीपॉक्स से संक्रमण का ज्यादा खतरा है, की निगरानी नहीं की तो मंकीपॉक्स के मामलों का निदान करना कठिन हो सकता है. रिपोर्ट के कहा गया कि कोई यौन संचारित संक्रमण नहीं पाया गया, लेकिन एक मामले में एचबीवी (हेपेटाइटिस बी वायरस) की पहचान हुई है. रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि पांचों में से किसी ने भी चेचक या मंकीपॉक्स का टीका नहीं लगवा रखा था. गौरतलब है कि मंकीपॉक्स संक्रमण के फैलाव के लिए गे सेक्स को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है. LGBT समुदाय के लोग मंकीपॉक्स को लेकर लगातार आम लोगों के निशाने पर हैं.


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