Happy New Year 2023: आज रात 9 बजे के बाद राजीव चौक मेट्रो स्टेशन से नहीं निकल पाएंगे बाहर, DMRC ने लिया ये बड़ा फैसला
DMRC News: Rajiv Chowk मेट्रो स्टेशन, ऐतिहासिक Connaught Place, क्षेत्र में स्थित है, जहां हर साल नववर्ष की पूर्व संध्या और नए साल के पहले दिन बड़ी संख्या में लोग इकट्ठा होते हैं.
Rajiv Chowk DMRC News: नववर्ष की पूर्व संध्या पर भीड़ को नियंत्रित करने के लिए मध्य दिल्ली में स्थित राजीव चौक मेट्रो स्टेशन से रात नौ बजे के बाद यात्रियों को बाहर नहीं निकलने दिया जाएगा. अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी.
ब्लू लाइन पर पड़ने वाला राजीव चौक मेट्रो स्टेशन, ऐतिहासिक कनॉट प्लेस क्षेत्र में स्थित है, जहां हर साल नववर्ष की पूर्व संध्या और नए साल के पहले दिन बड़ी संख्या में लोग इकट्ठा होते हैं.
दिल्ली मेट्रो रेल निगम (DMRC) ने एक बयान में कहा, “दिल्ली पुलिस की सलाह के अनुसार, नए साल की पूर्व संध्या (31 दिसंबर) पर भीड़भाड़ कम करने के लिए रात 9 बजे के बाद राजीव चौक मेट्रो स्टेशन से यात्रियों को बाहर निकलने की अनुमति नहीं दी जाएगी. हालांकि, राजीव चौक मेट्रो स्टेशन से आखिरी ट्रेन के प्रस्थान तक यात्रियों को स्टेशन में प्रवेश की अनुमति होगी.”
बयान में कहा गया है कि यात्रियों से अनुरोध है कि वे इसके अनुसार अपनी यात्रा की योजना बनाएं.
दिल्ली में भीषण शीतलहर के आसार
नव वर्ष की पूर्व संध्या पर दिल्ली के अधिकतर हिस्से शीत लहर और भीषण ठंड की चपेट में होंगे तथा जनवरी की शुरुआत में यहां सर्दी का सितम और बढ़ने के आसार हैं. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने बृहस्पतिवार को यह पूर्वानुमान व्यक्त किया.
आईएमडी के मुताबिक, दिल्ली सहित पूरा उत्तर भारत अभी पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव में है और खाड़ी क्षेत्र से बहने वाली गर्म नम हवाओं के कारण यहां लोगों को ठंड से हल्की राहत मिली है. हालांकि मौसम विज्ञानियों ने 31 दिसंबर से राष्ट्रीय राजधानी में न्यूनतम तापमान में एक बार फिर गिरावट शुरू होने का अंदेशा जताया है.
25-26 दिसंबर को पहाड़ों में फिर से बर्फबारी
मौसम विज्ञानियों ने कहा कि उत्तर-पश्चिम से बहने वाली सर्द हवाओं और कोहरे से धूप की तीव्रता में कमी के कारण उत्तर-पश्चिम भारत में पिछले दिनों में शीत लहर और सामान्य से कम तापमान का दौर देखने को मिला था.
उन्होंने बताया कि पश्चिमी विक्षोभ के कारण 25-26 दिसंबर को पहाड़ों में फिर से बर्फबारी हुई जबकि, पश्चिमी विक्षोभ का प्रभाव खत्म होने के बाद मैदानी इलाके सर्द उत्तर-पश्चिमी हवाओं की गिरफ्त में आ गए.