Manish Sisodia News: केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) के सूत्रों के मुताबिक, एजेंसी दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की और हिरासत की मांग करेगी. सिसोदिया को दिल्ली आबकारी नीति घोटाले के सिलसिले में गिरफ्तार किया गया था. सिसोदिया को उनकी पांच दिन की न्यायिक हिरासत की अवधि समाप्त होने के बाद विशेष CBI अदालत में पेश किया जाएगा. CBI सूत्रों ने दावा किया कि सिसोदिया अब भी टालमटोल कर रहे हैं और बात नहीं कर रहे हैं.
सूत्रों ने कहा कि जनवरी में उन्होंने सिसोदिया के कार्यालय से एक कंप्यूटर जब्त किया था. बाद में पता चला कि कंप्यूटर से फाइलें और अन्य डेटा डिलीट कर दिए गए थे. CBI ने तब कंप्यूटर को फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी में डिलीट की गई फाइलों को पुन: प्राप्त करने के लिए भेजा. अब एफएसएल ने उन्हें रिपोर्ट देकर कंप्यूटर से डिलीट की गई पूरी फाइल को बरामद कर लिया है.
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CBI ने रिमांड पेपर में ये आरोप लगाया
सिसोदिया ने गिरफ्तारी के एक दिन बाद अपने पद से इस्तीफा दे दिया था. सत्येंद्र जैन, जो इस समय जेल में हैं और दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री थे, उन्होंने भी उनके साथ इस्तीफा दे दिया.
CBI ने रिमांड पेपर में आरोप लगाया है कि सिसोदिया ने आबकारी नीति घोटाले में अहम भूमिका निभाई थी. सिसोदिया ने आबकारी नीति के संबंध में विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट को कुछ शराब कारोबारियों को लाभ पहुंचाने के लिए बदल दिया था.
यह भी आरोपी विजय नायर के माध्यम से किया गया था, उन्होंने दक्षिण भारत के एक शराब व्यवसायी और राजनेता द्वारा नियंत्रित किए जा रहे साउथ ग्रुप से 100 करोड़ रुपये एकत्र किए थे, जो नीति के माध्यम से लाभान्वित होंगे. हवाला चैनल के माध्यम से 100 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया था, जिसे हमने पता लगा लिया है.
'सिसोदिया ने लगभग 14 सेल फोन और 4 सिम कार्ड बदले'
सूत्रों ने कहा कि हमें पता चला है कि सितंबर और अक्टूबर 2021 के बीच, सिसोदिया ने लगभग 14 सेल फोन और 4 सिम कार्ड बदले. सेल फोन बदलने का उद्देश्य सबूत नष्ट करना था. सिसोदिया के सचिव देवेंद्र शर्मा ने ये सभी मोबाइल फोन मुहैया कराए थे, इस संबंध में उनका बयान हमारे पास है.
CBI इस मामले में पहले ही सात लोगों के खिलाफ चार्जशीट दायर कर चुकी है और इस मामले में एक सप्लीमेंट्री चार्जशीट दायर करने के लिए तैयार है.