Delhi Crime: क्राइम ब्रांच उत्तरी रेंज 1 की टीम ने बिहार के रहने वाले सेंधमारों के एक ऐसे गैंग का खुलासा करने में कामयाबी पाई है जो बिहार से दिल्ली आ कर यहां के गोदामों में सेंधमारी कर लाखों के सामानों पर हाथ साफ कर वापस बिहार लौट जाते थे. ये गैंग अब तक इस तरह की सेंधमारियों की कई वारदातों को अंजाम दे चुका है.


आरोपियों से लाखों का सामान बरामद


स्पेशल सीपी रविन्द्र सिंह यादव के अनुसार, इस मामले में गिरफ्तार आरोपियों की पहचान विकास राम उर्फ राजन, अनवार-उल-हक, राकेश कुमार साह और गुल आलम के रूप में हुई है. इनके कब्जे से 60 लाख रुपए की कीमत का 45 हजार किलो प्लास्टिक पीवीसी पाउडर, 11 लाख रुपए के कपड़ों के 550 रोल, 09 पैकेट कटिंग व्हील और वारदात में प्रयुक्त की गई मोटरसाइकिल बरामद की गई है.


 आरोपी विकास राम उर्फ राजन पर दिल्ली के अलग-अलग थानों में 13 जबकि अनवार-उल-हक हक पर 10 आपराधिक मामले दर्ज हैं. पुलिस ने इनकी गिरफ्तारी से स्वरूप नगर और अलीपुर थानों के कुल 5 मामलों का खुलासा करने में कामयाबी पाई है. डीसीपी ने बताया कि क्राइम ब्रांच के एसीपी विवेक त्यागी की देखरेख में क्राइम ब्रांच की टीम स्थानिक पैटर्न और अपराध के तरीकों का विश्लेषण करती रहती है जिससे उन्हें पता चला कि पिछले कुछ महीनों में हुई कई सेंधमारियों की घटनाओं में एक ही तरीके का इस्तेमाल किया गया है जिसके आधार पर क्राइम ब्रांच एनआर 1 की टीम को इस तरह की वारदातों में लिप्त अपराधियों की धरपकड़ के लिए लगाया गया.


सेंधमारी की वारदातों के तरीके से चला गैंग का पता
पुलिस टीम ने सेंधमारी की वारदातों से जुड़ी सभी जानकारियों का बारीकी से अध्ययन किया और वारदात में इस्तेमाल किये गए औजारों और गाड़ियों का पता लगाने का प्रयास करते हुए सूत्रों को सक्रिय किया, साथ ही टेक्निकल सर्विलांस की भी सहायता ली गयी. इसके अलावा सीसीटीवी फुटेजों की भी बारीकी से जांच की गई. आखिरकार हेड कॉन्स्टेबल करमजीत और कुलदीप को सूत्रों से एक विशिष्ठ सूचना प्राप्त हुई, जिसमें उन्हें बिहार बेस्ड सेंधमारों के गैंग के एक सदस्य विकास उर्फ राजन के ठिकानों के बारे में सूचना मिली थी. सूत्रों ने बताया कि आरोपी ने चोरी के सामानों को सनोठ गांव स्थित एक गोडाउन में छिपाकर रखा है.


गैंग के सरगान समेत 4 आरोपी गिरफ्तार
सूत्रों से मिली सूचना के आधार पर डीसीपी विचित्र वीर और एसीपी विवेक त्यागी की देखरेख में इंस्पेक्टर आलोक कुमार रंजन के नेतृत्व में इंस्पेक्टर संजय कौशिक, एसआई नरेंद्र, हेड कॉन्स्टेबल कुलदीप, करमजीत और अन्य की छापेमारी टीम को आरोपियों की धरपकड़ के लिए लगाया गया. पुलिस ने सनोठ गांव के गोडाउन में छापेमारी कर वहां मौजूद गिरोह के सरगना विकास राम उर्फ राजन सहित चार आरोपियों को दबोच लिया.


आरोपियों से लाखों का सामान बरामद
 सख्ती से पूछताछ में आरोपियों ने वारदात को अंजाम देने की बात कबूल कर ली. उनकी निशानदेही पर पुलिस ने चोरी के 3 हजार रुपये प्रति पैकेट की कीमत वाले 2 हजार पैकेट पीवीसी पाउडर, 2 हजार रुपये प्रति रोल वाले 555 कपड़ों के रोल बरामद किए जिन्हें आरोपियों ने खैरा स्थित गोडाउन में छुपा रखा था. इसके अलावा 9 पैकेट कटिंग व्हील और वारदात में प्रयुक्त मोटरसाइकिल भी बरामद की गई. पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वो इससे पहले भी कई मौकों पर दिल्ली आ कर सेंधमारी को अंजाम दे चुके हैं और फिर वापस बिहार लौट जाते थे.


रेकी कर गोदाम का ताला तोड़ कर डाल देते थे अपना ताला
उन्होंने बताया कि वो बाइक से घूम कर ऐसे इलाके के गोडाउन की रेकी करते थे जहां कोई उसकी देखभाल करने वाला नहीं होता था या फिर वह काफी समय से बंद पड़ा हो जिसके बाद वह देर रात गोडाउन पर पहुंचते थे और फिर उसका ताला तोड़कर अपना ताला लगा देते थे. जिसके बाद वो ट्रांसपोर्टर को कॉल कर ट्रक को बुलाते थे और उसे बताते थे कि यहां से सामानों को दूसरी जगह उसके गोदाम पर शिफ्ट करना है जिसके लिए वह पहले से ही फर्जी तरीके से एक गोदाम को किराए पर लेकर रखते थे. चोरी किए गए सामानों को ट्रक से हीरा के गोदाम तक और फिर वहां से कंझावाला स्थित गोदाम में शिफ्ट कर देते थे और उसके बाद उस सामना को बिहार भेज दिया जाता था. इस मामले में पुलिस आरोपियों को गिरफ्तार कर आगे की जांच में जुट गई है.


यह भी पढ़ें:


Delhi: तलाक देकर बच्ची को छोड़ा पति के पास, दिल्ली में आकर करने लगी ड्रग्स तस्करी, महिला समेत दो गिरफ्तार