दिल्ली सरकार हर महीने 400 यूनिट तक बिजली की खपत वाली योजना के लिए इस साल 3,250 करोड़ रुपये खर्च कर सकती है. बिजली विभाग द्वारा जारी किए गए प्रस्ताव में बताया गया है कि आने वाले बजट के तहत इस राशि का उपयोग दो श्रेणियों में होना है, जो कि 43 लाख से अधिक उपभोक्ताओं की बिजली खपत को सब्सिडी देने के लिए किया जाएगा.


दिल्ली में 54.5 लाख घरेलू बिजली कनेक्शनों में से करीब 43 लाख बिजली कनेक्शन मुफ्त बिजली योजना के दायरे में आते हैं. दिल्ली में 54.5 लाख से अधिक डोमेस्टिक कनेक्शन कंज्यूमर हैं, जिनमें से लगभग 27.7 लाख कंज्यूमर हर महीने 200 यूनिट बिजली का उपयोग करते हैं जिससे उनका बिजली का बिल जीरो ही रहता है. इसके साथ ही 200 से 400 यूनिट बिजली खपत करने वाले 15.5 लाख परिवारों को इस योजना के तहत 800 रुपये का बिल देना होता है.


दिल्ली सरकार का बजट सत्र 23 मार्च से शुरू होगा और माना जा रहा है कि वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया 25 मार्च को लगातार सातवां बजट पेश कर सकते हैं. इस बजट में दिल्लीवासियों की नजरें फ्री बिजली पर टिकी हुई हैं, जिसमें सरकार से बिजली विभाग की तरफ से 3,250 करोड़ रुपये खर्च की बात की गई है. 


आम आदमी पार्टी की सरकार ने दिल्ली में 2021-22 में घरेलू बिजली उपभोक्ताओं को बजट अनुमानित सब्सिडी के के लिए 3,090 कोरड़ रुपये दिए थे. अब संशोधित बजट में इसे बढ़ा दिया गया है. दिल्ली सरकार ने दिल्ली की जनता के लिए साल  2019 से 200 यूनिट तक बिजली खपत पर जीरो बिल की घोषणा की थी. इससे उपर के बिल वालों के बिजली शुल्क का 50 प्रतिशत सब्सिडी के साथ 800 रुपये प्रति माह तय की गई है.


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दिल्ली में बिजली सब्सिडी का लाभ उठाने वाले 86 प्रतिशत घरेलू उपभोक्ताओं हैं. आम आदमी पार्टी के लिए सस्ती बिजली और मुफ्त पानी सबसे बड़ा चुनावी मुद्दा था, जिससे ये साल 2015 में दिल्ली की 70 विधानसभा सीटों में से 67 सीटें जीतकर सत्ता में आई थी. 


अब तक दिल्ली में बिजली सब्सिडी के लिए आया इतना खर्चा


दिल्ली में फ्री बिजली के लिए साल 2015-16 में 1,200 करोड़ रुपये आवंटित किए गए थे. इसके बाद इस राशि को बढ़ा दिया है जो 2016-17 में बढ़कर 1,577 करोड़ रुपये, 2017-18 में 1,676 करोड़ रुपये और 2018-19 में 1,699 करोड़ रुपये हो गई थी.