Republic Day 2023: गणतंत्र दिवस परेड में पहली बार दिखी BSF की महिला ऊंट सवार की टुकड़ी, शाही पोशाक बनी आकर्षण का केंद्र
Republic Day: गणतंत्र दिवस परेड में पहली बार सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की ऊंट सवार टुकड़ी में बल की महिला कर्मियों ने पुरुष जवानों के साथ भाग लिया.यह टुकड़ी कर्तव्य पथ पर सभी के आकर्षण का केंद्र रही.
BSF Mahila Camel Riders in Republic Day 2023: गणतंत्र दिवस परेड में कर्तव्य पथ पर इस साल एक अनोखा नजारा दिखा. पहली बार इतिहास में गणतंत्र दिवस की परेड में सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के ऊंट सवारों की टुकड़ी में महिलाएं नजर आईं. 26 जनवरी यानी गणतंत्र दिवस की परेड में गुरुवार को बीएसएफ की ऊंट सवार टुकड़ी मुख्य आकर्षण का केंद्र रही. दरअसल, पहली बार सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की ऊंट सवार टुकड़ी में बल की महिला कर्मियों ने पुरुष जवानों के साथ भाग लिया. राजस्थान में प्रशिक्षित हुई और राजसी पोशाक पहने ये महिला टुकड़ी परेड में सभी का ध्यान आकर्षित कर रही थी.
बीएसएफ ने बताया कि प्रख्यात डिजाइनर राघवेंद्र राठौड़ ने इन महिला ऊंटसवारों की पोशाक तैयार की थी. इसमें देश के अलग-अलग हिस्सों की लोक संस्कृति की झलक दिखाई दी. बता दें कि इसी महिला टुकड़ी को राजस्थान में भारत-पाकिस्तान सीमा पर भी तैनात रहकर देश के दुश्मनों से लोहा लेने का जिम्मा सौंपा गया है. एक अधिकारी ने बताया कि बीएसएफ के पूर्व महानिदेशक पंकज कुमार सिंह के निर्देश पर 15-20 महिलाकर्मियों को ऊंटसवार टुकड़ी में शामिल होने का प्रशिक्षण दिया गया था. देश में महिला जवानों का पहला ऊंट जत्था राजस्थान के खाजूवाला में 25 सितंबर को लॉन्च किया गया था. यही जत्था पहली बार गणतंत्र दिवस परेड में शामिल हुआ है.
वर्दी बेहद खास
ऊंट दस्ते में शामिल महिलाएं गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश से ताल्लुक रखती हैं. महिला जवानों के लिए विशेष शाही वर्दी डिजाइन कि गई हैं, जिनमें भारत की शिल्प कलाओं को उकेरा गया है. वर्दियों को मशहूर फैशन डिजाइनर ने असेंबल किया है. इनमें प्रतिष्ठित जोधपुरी बंदगला शामिल है, जो एक क्लासिक लुक देता है. बीएसएफ के मुताबिक, वर्दियों पर 400 साल पुरानी डंका तकनीक के जरिये हाथ से जरदोजी का काम किया गया है. वर्दी में राजस्थान के मेवाड़ में पहनी जाने वाली विशेष पगड़ी भी शामिल है.