Delhi News: दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले आम आदमी पार्टी (AAP) को बड़ा झटका लगा है. सीलमपुर से आप विधायक अब्दुल रहमान (Abdul Rehman) ने कांग्रेस पार्टी का दामन थाम लिया है. अब्दुल रहमान ने कुछ दिन पहले ही आप की अल्पसंख्यक इकाई के प्रमुख के पद से इस्तीफा दे दिया था. उनका यह इस्तीफा चौधरी मतीन अहमद के बेटे जुबैर अहमद और बहू शगुफ्ता के आप ज्वाइन करने के बाद आया था.
इस संबंध में उन्होंने 29 अक्टूबर को 'एक्स' पर पोस्ट लिखकर जानकारी थी. अब्दुल रहमान ने लिखा था, "आम आदमी पार्टी के अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के अध्यक्ष पद से इस्तफ़ा दे रहा हूं. विचारों में बढ़ते फासले को देखते हुए, यह निर्णय लिया है. उम्मीद है कि पार्टी और समर्थक मेरे इस कदम को समझेंगे.'' अब्दुल रहमान के इस ट्वीट से ही माना जा रहा था कि वह जुबैर अहमद के आप ज्वाइन करने से नाराज हैं.
जुबैर के कारण अब्दुल रहमान ने छोड़ी आप
जुबैर कांग्रेस के जिला अध्यक्ष थे. उनका बाबरपुर इलाके में गहरा प्रभाव माना जाता है. जबकि उनकी पत्नी पार्षद हैं. जुबैर के पिता सीलमपुर से ही पांच बार के विधायक रहे हैं. ऐसी जानकारी भी सामने आई थी कि आम आदमी पार्टी जुबैर को अल्पसंख्यक इकाई का अध्यक्ष बना सकती है.
सीलमपुर में लंबे समय तक चौधरी मतीन विधायक रहे हैं. जनता दल और कांग्रेस के टिकट पर वह विधायक रहे हैं. 2015 में जब आम आदमी पार्टी पूर्ण बहुमत के साथ दिल्ली में सत्ता में आई तो इसके नेता मोहम्मद इशराक निर्वाचित हुए. 20202 में आप ने अपना प्रत्याशी बदल दिया और अब्दुल रहमान को टिकट दिया. वह पार्टी की उम्मीद पर खरे भी उतरे. उन्होंने बीजेपी के कौशल कुमार मिश्रा और कांग्रेस के चौधरी मतीन अहमद को चुनाव में हरा दिया. चौधरी मतीन को सीलमपुर में 20 हजार ही वोट मिले थे जबकि अब्दुल रहमान को 72,694 वोट हासिल हुए थे.
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