Gujarat Illegal Migration: अवैध आव्रजन रैकेट को लेकर गुजरात पुलिस की जांच क्षेत्रीय पासपोर्ट कार्यालय (आरपीओ) में अटकी हुई है. पुलिस ने एक कार्रवाई में अवैध आव्रजन में शामिल एजेंटों से 78 पासपोर्ट जब्त किए थे, जिन्हें बाद में आरपीओ को भेज दिया गया था. पुलिस ने जानना चाहा कि क्या जब्त किए गए पासपोर्ट असली थे, नकली थे या जाली दस्तावेजों के आधार पर जारी किए गए थे.


इससे अवैध आव्रजन रैकेट की जांच में देरी हो रही


गुजरात पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि पासपोर्ट को आरपीओ को भेजे हुए लगभग एक महीना हो गया है, लेकिन विभाग द्वारा उन्हें तीन रिमाइंडर भेजने के बावजूद चीजें एक भी नहीं बदली हैं. इससे अवैध आव्रजन रैकेट की जांच में देरी हो रही है. मेहसाणा जिले के कलोल तालुका के डिंगुचा गांव के चार लोगों के एक परिवार की फरवरी में कनाडा में अमेरिका में अवैध रूप से प्रवेश करने की कोशिश के दौरान मौत के घाट उतारने के बाद सरकार ने राज्य से अवैध आव्रजन पर कार्रवाई शुरू की.


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जांच को 'ऑपरेशन मेक्ला' नाम दिया गया


19 फरवरी को, गुजरात पुलिस ने चार एजेंटों को गिरफ्तार किया, जो एक अवैध अप्रवासी रैकेट का हिस्सा थे, जिसमें उम्मीदवारों को मैक्सिकन सीमा के माध्यम से अमेरिका भेजा गया था. दो आरोपियों के आवासों पर छापेमारी में 78 पासपोर्ट, 13 चुनाव कार्ड, 23 पैन कार्ड, विभिन्न बैंकों के टिकट और जाली बैंक खाते और अन्य दस्तावेज जब्त किए गए. पुलिस ने जब्त किए गए पासपोर्ट को सत्यापन के लिए आरपीओ को भेज दिया था.


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अवैध अप्रवास की जांच को 'ऑपरेशन मेक्ला' नाम दिया गया है. पासपोर्ट अधिकारियों ने कहा कि वे पहले ही 30 परिवारों के 150 अवैध प्रवासियों के पासपोर्ट विवरण प्रदान कर चुके हैं, जो पहले ही कनाडा या मैक्सिको के रास्ते अमेरिका में प्रवेश कर चुके हैं.