Gujarat Rain News: गुजरात में मानसून की शुरुआत के बाद से भारी बारिश हो रही है और अहमदाबाद सहित राज्य के कई हिस्सों में बारिश ने कहर बरपा रखा है. यहां एक ही दिन में 500 मिलीमीटर से ज्यादा बारिश हुई. जलजमाव और बारिश के कारण लोगों को लाखों-करोड़ों का नुकसान हुआ है और वे या तो सरकार को दोष दे रहे हैं या सरकार से कुछ सहायता की उम्मीद कर रहे हैं.अहमदाबाद में एक बिजली की दुकान के मालिक प्रदीप कनौजिया ने बताया कि भारी बारिश के बाद उनकी दुकान पानी में डूब गई.


दूकानदार ने सुनाई अपनी पीड़ा
कनौजिया के अनुसार, परिसर की चारदीवारी के बाहर भीषण जलभराव था, जहां उनकी और नौ अन्य दुकानें स्थित हैं. दीवार ढह गई और सारा पानी परिसर में पहुंच गया, जिससे दुकानें जलमग्न हो गईं. उन्होंने विस्तार से बताया, "मेरी एक छोटी सी दुकान है, इसलिए मेरे पास किसी भी तरह का बीमा नहीं है. मेरी दुकान 24 घंटे से अधिक समय तक पानी में डूबी रही. उस समय कोई अधिकारी हमसे मिलने नहीं आया या उन्होंने हमारी मदद नहीं की.तब कांग्रेस कार्यकर्ता राजेश पटेल ने जेसीबी मशीन के साथ हमारी मदद की और एक बीजेपी समर्थक व्यक्ति ने एक पंपिंग मशीन के साथ मदद की.


Surat News: सूरत में कोर्ट की बिल्डिंग की दूसरी मंजिल से कूदा आरोपी, हुई मौत


लाखों का हुआ नुकसान
नगर निकाय के अधिकारी आज (बुधवार) हमारे पास आए हैं. हमारे परिसर के अध्यक्ष और सचिव मरम्मत कार्य (दीवार और अन्य नुकसान) की शुरुआत कर रहे हैं, जिसकी कीमत उन्हें 8 से 10 लाख रुपये होगी. मैंने व्यक्तिगत रूप से 4 से 5 लाख रुपये का माल खो दिया है. मैं इलेक्ट्रॉनिक्स वस्तुओं की मरम्मत का काम भी करता हूं, मैंने अपने ग्राहकों के उन सामानों को भी खो दिया है."


कनौजिया ने कहा, "हम तालाबंदी के दौरान हुए नुकसान से उबरने की कोशिश कर रहे थे, फिर यह महंगाई और अब बारिश. हमें संभलने में दो से तीन साल लगेंगे. हमें कुछ सरकारी मदद की सख्त जरूरत है, हम केवल नगर निकाय की लापरवाही के कारण इस स्थिति का सामना कर रहे हैं. हमें उम्मीद है कि चुनाव नजदीक आने पर सरकार कुछ मदद करेगी."


क्या बोले गुजरात ट्रेडर्स फेडरेशन के अध्यक्ष?
वहीं, गुजरात ट्रेडर्स फेडरेशन के अध्यक्ष जयेंद्र तन्ना ने कहा, "इस तरह की प्राकृतिक आपदा के कारण प्रभावित छोटे व्यवसायों को राहत देने की सरकार की नीति है." अहमदाबाद चैंबर ऑफ कॉमर्स वेलफेयर फाउंडेशन ने मांग की है कि नुकसान का जल्द से जल्द आकलन करने के लिए कलेक्टर की अध्यक्षता में एक कमेटी बनानी होगी.


ये भी पढ़ें:


Gujarat News: सांप्रदायिक दंगों से जुड़े मामले में पूर्व IPS संजीव भट्ट गिरफ्तार, ये है आरोप