Gujarat Schools: गुजरात सरकार ने बुधवार को हाईकोर्ट को सूचित किया कि वर्तमान शैक्षणिक वर्ष के लिए राज्य शिक्षा बोर्ड से जुड़े स्कूलों में भाग लेने वाले विद्यार्थियों के लिए फिजिकल अटेंडेंस की आवश्यकता नहीं होगी. दरअसल मुख्य न्यायाधीश अरविंद कुमार और न्यायमूर्ति आशुतोष शास्त्री की खंडपीठ सभी स्कूली बच्चों के लिए शारीरिक शिक्षा सत्र अनिवार्य करने वाले सरकारी परिपत्र को चुनौती देने वाली एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी.


पिछले आदेश में हाई कोर्ट ने परिपत्र पर सवाल उठाया


गुजरात सरकार के 15 फरवरी से लागू हुए इस सर्कुलर में कहा गया था कि कोविड-19 महामारी की स्थिति में गिरावट के कारण आगे ऑनलाइन कक्षाएं नहीं होंगी, अपने पिछले आदेश में हाई कोर्ट ने परिपत्र पर सवाल उठाया जिसमें पाया गया कि महामारी का जोखिम बना हुआ है.


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सरकारी वकील मनीषा लवकुमार शाह ने बुधवार को अदालत को बताया परीक्षा के उद्देश्य के लिए उपस्थिति अनिवार्य नहीं है, उस विचार में, प्रत्येक माता-पिता कॉल कर सकते हैं, उपस्थिति अनिवार्य नहीं है, और स्कूल इसमें कोई अपवाद नहीं लेंगे.


यह फैसला सीबीएसई या आईसीएसई स्कूलों पर लागू नहीं होगा


अदालत ने कहा कि शैक्षणिक वर्ष 2021-2022 के लिए स्कूल में शारीरिक उपस्थिति के लिए उपस्थिति अनिवार्य नहीं होगी और इसे संबंधित स्कूलों और अभिभावकों के विवेक पर छोड़ दिया गया है. यह फैसला सीबीएसई या आईसीएसई स्कूलों पर लागू नहीं होगा.


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