Gujarat Assembly News: गुजरात विधानसभा के मानसून सत्र के आखिरी दिन शुक्रवार (23 अगस्त) को एक चर्चा के दौरान सदन में जमकर हंगामा हुआ. इस दौरान स्पीकर के निर्देश पर कांग्रेस विधायक जिग्नेश मेवाणी के खिलाफ कार्रवाई की गई. मेवाणी को सदन से बाहर कर दिया गया.
गुजरात विधानसभा के स्पीकर शंकर चौधरी वडगाम से कांग्रेस विधायक जिग्नेश मेवाणी को सदन के वेल से अपनी सीट पर लौटने का आग्रह कर रहे थे लेकिन जब वो नहीं माने तो उन्हें विधानसभा से बाहर कर दिया गया.
मेवाणी और अन्य कांग्रेस विधायक राज्य में नशीली दवाओं के मुद्दे पर चर्चा की शुरुआत में राज्य मंत्री (गृह) हर्ष सांघवी की ओर से की गई टिप्पणियों का विरोध कर रहे थे. गुजरात पुलिस द्वारा मादक पदार्थों की जब्ती पर एक चर्चा के दौरान मेवाणी खड़े हुए और सत्ता पक्ष पर आक्रामक होकर हल्ला करने लगे और बीजेपी सरकार को रेप जैसे अन्य कुछ मुद्दों पर चर्चा की चुनौती दी.
पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक मेवाणी ने राजकोट गेम जोन में आग, मोरबी पुल ढहने की घटना और वडोदरा में नाव पलटने जैसी घटनाओं पर बहस को लेकर चुनौती दी जिसका टेलीविजन पर सीधा प्रसारण हो. स्पीकर की ओर से शिष्टाचार बनाए रखने के बार-बार आग्रह के बाद भी कांग्रेस विधायक मेवाणी अपनी सीट के पास खड़े होकर चर्चा की मांग करते रहे और आसन के सामने पहुंच गए.
मेवाणी ने न मानने के बाद विधानसभाध्यक्ष की ओर से कांग्रेस विधायक को निष्कासित करने का आदेश दे दिया जिसके बाद मार्शल ने उन्हें बिना किसी बल प्रयोग के सदन से बाहर कर दिया गया. मेवाणी के व्यवहार की निंदा करते हुए स्पीकर चौधरी ने कहा कि कांग्रेस विधायक ने इस तरह के कृत्य से संविधान का अनादर किया है.
इसके बाद में मंत्री हर्ष संघवी ने बीजेपी विधायक भरत पटेल की ओर से मादक पदार्थों की जब्ती के बारे में उठाए गए 'तत्काल सार्वजनिक महत्व के मामले' पर जवाब दिया. बाद में संघवी ने सदन को बताया कि पुलिस ने पिछले 15 दिनों में गुजरात के तटीय इलाकों से 850 करोड़ रुपये मूल्य का लावारिस मादक पदार्थ बरामद किया है. वहीं पिछले एक साल में 431 लोगों की गिरफ्तारी की गई.
ये भी पढ़ें:
एंटी ब्लैक मैजिक बिल: गुजरात विधानसभा में विधेयक पारित, 7 साल की सजा के साथ जुर्माने का प्रावधान