Gujarat: गुजरात गवर्नमेंट डॉक्टर्स फोरम ने मंगलवार को राज्य सरकार को अपनी लंबे समय से लंबित मांगों को पूरा करने के लिए एक सप्ताह का समय दिया. फोरम ने सरकार को लिखे पत्र में कहा है कि अगर समय सीमा के भीतर मुद्दों का समाधान नहीं किया गया तो डॉक्टर सिर्फ 24 घंटे के नोटिस के साथ हड़ताल पर चले जाएंगे.


क्या है डॉक्टर्स की मांग


डॉक्टर्स की कई मांगे हैं जिनमें में सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करना, भविष्य निधि और करियर उन्नति योजना के लाभ, परिवहन भत्ता, ग्रेच्युटी, चिकित्सा प्रतिपूर्ति का प्रावधान शामिल है.


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फोरम ने कहा कि एक बार हड़ताल शुरू हो जाने के बाद, जब तक डॉक्टरों को सरकार से लिखित आश्वासन नहीं मिलता कि उनकी मांगों को पूरा किया जाएगा, तब तक इसे बंद नहीं किया जाएगा.


इससे पहले की गई थी एक पैनल की मांग


गुजरात के हेल्थ डिपार्टमेंट ने बीजे मेडिकल कॉलेज में मेडिसिन विभाग के प्रमुख डॉ कमलेश उपाध्याय के खिलाफ लगाए गए उत्पीड़न और प्रताड़ना के आरोपों की 'निष्पक्ष, तटस्थ और निष्पक्ष' जांच के लिए एक नई समिति गठित करने का और साथ ही 30 दिनों के अंदर जांच पूरी करने के आदेश दिए हैं.


जेडीए-बीजेएमसी लगभग तीन महीने से डॉ कमलेश उपाध्याय के खिलाफ विरोध दर्ज कर रहा है और साथ ही एक बयान जारी किया गया था कि अगर एक स्वतंत्र समिति द्वारा निष्पक्ष जांच की नहीं की गई तो जूनियर डॉक्टर 21 फरवरी से इमरजेंसी और कोविड -19 कर्तव्यों से हट जाएंगे. 


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