Haryana Assembly Elections 2024: हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए बीजेपी ने अपनी पहली लिस्ट जारी कर दी है. पहली लिस्ट में 67 उम्मीदवारों के नाम हैं. बीजेपी ने इस बार पहलवान बबीता फोगाट का टिकट काटकर चरखी-दादरी सीट से सुनील सांगवान (Sunil Sangwan) को टिकट दिया है. सुनील सांगवान ने तीन दिन पहले ही जेल अधीक्षक के पद से वीआरएस लिया था.
बीजेपी उम्मीदवारों की लिस्ट आने के बाद राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि महिला पहलवानों के आंदोलन के दौरान बबीता फोगाट ने खुलकर बीजेपी और सरकार का समर्थन किया था. ऐसे में बीजेपी को लग रहा है कि बबीता फोगाट चरखी-दादरी से चुनावी मैदान में उतरती हैं तो जीतना संभव नहीं है. इसीलिए बीजेपी ने सुनील सांगवान को मौका दिया.
वहीं उम्मीदवारों की लिस्ट आने से पहले बबीता फोगाट ने चरखी-दादरी सीट पर अपने सियासी अभियान को तेज कर दिया था, लगातार क्षेत्र में सक्रिय थीं. ऐसे में लग रहा था कि एक बार फिर से वह टिकट की चाहत में हैं, लेकिन सुनील सांगवान की एंट्री से उनका सियासी खेल बिगड़ गया.
बबीता की जगह सुनील सांगवान को मिला मौका
बता दें सुनील सांगवान के पिता सतपाल सांगवान हरियाणा में कैबिनेट मंत्री रहे हैं. वह छह बार दादरी से चुनाव लड़ चुके हैं. करीब 28 वर्षों की राजनीति में सांगवान लगातार छह चुनाव लड़े, लेकिन दो बार जीत मिली और मंत्री भी बने. पूर्व मुख्यमंत्री स्व. बंसीलाल ने उन्हें सियासत में उतारा था.
वहीं अब बीते रविवार को सुनील सांगवान ने सरकार को जेल अधीक्षक के पद से वीआरएस लेने के लिए पत्र लिखा और फिर तुरंत उन्हें सरकार ने रिटायर भी कर दिया. वहीं सबसे अहम बात है कि सुनील सांगवान ने रेप और मर्डर केस में सजायाफ्ता डेरा मुखी राम रहीम को अपने कार्यकाल में पेरोल और फरलो दी थी.
2019 के आंकड़े
बता दें 2019 के चुनाव में बीजेपी के टिकट पर पहलवान बबीता फोगाट ने राजनीति में कदम रखा था. इसके बाद चरखी-दादरी विधानसभा सीट से मैदान में उतरी थीं, लेकिन जीत नहीं सकी थीं. चरखी-दादरी सीट पर 2019 में निर्दलीय सोमबीर सांगवान विधायक चुने गए.
जेजेपी के टिकट पर सतपाल सांगवान चुनाव लड़े थे, जिन्हें 29577 वोट मिले थे और दूसरे नंबर पर थे. बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ने वालीं बबीता फोगाट को 24 हजार 786 वोट मिले थे और वो तीसरे नंबर पर रहीं.