Stubble Burning: पराली जलाने पर हरियाणा सरकार सख्त, अब तक 93 FIR दर्ज, 26 अधिकारी सस्पेंड
Haryana Stubble Burning: हरियाणा में पराली जलाने वाले 93 किसानों के खिलाफ FIR दर्ज हुई है. जबकि 26 अधिकारियों को सस्पेंड किया जा चुका है. वहीं 386 अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी हो चुका है.
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Haryana Stubble Burning News: धान की पराली को आग लगाने का सिलसिला पंजाब और हरियाणा में जारी है. हालांकि, पिछले साल के मुकाबले इस बार कम आग लगाई जा रही है. हरियाणा में सरकार पराली को आग लगाने वाले किसानों के खिलाफ सख्ती से पेश आ रही है.
हरियाणा स्पेस एप्लीकेशन सेंटर हिसार द्वारा हरियाणा में आग लगाई जाने के 21 अक्टूबर तक 655 मामले रिकॉर्ड गए हैं. हालांकि, इस पर राज्य पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड का कहना है कि इनमें से 234 जगहों पर जाकर ये पाया गया कि वहां पराली को आग नहीं लगाई थी. इसलिए राज्य में पराली जलाने के 419 ही मामले सामने आए हैं. पिछले साल 21 अक्टूबर तक राज्य में पराली को आग लगाने के 689 मामले सामने आए थे.
पराली जलाने पर 93 केस दर्ज
हरियाणा में पराली को आग लगाने वाले किसानों के खिलाफ 93 FIR दर्ज हो चुके हैं, जबकि 26 अधिकारियों को सस्पेंड किया जा चुका है. वहीं, 386 अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है. 13 किसानों को पराली जलाने के आरोप में गिरफ्तार भी किया गया था, जिन्हें मुचलके पर रिहा कर दिया गया है. 327 मामलों में किसानों पर जुर्माना लगा है.
बता दें सुप्रीम कोर्ट ने पराली जलाने के मामले में उल्लंघनकर्ताओं के खिलाफ मुकदमा नहीं चलाने को लेकर हरियाणा और पंजाब सरकारों को बुधवार को फटकार लगाई थी. कोर्ट ने दोनों राज्यों के मुख्य सचिवों को 23 अक्टूबर को उसके समक्ष पेश होकर स्पष्टीकरण देने को कहा है.
क्यों जलाते हैं पराली?
रबी की फसल गेहूं की बुआई के लिए किसान अपने खेतों को साफ करने के लिए धान के अवशेषों (पराली) को जलाते हैं, क्योंकि कटाई और बुआई के बीच की अवधि बहुत कम होती है. हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और कांग्रेस महासचिव और सिरसा से सांसद कुमारी सैलजा ने हाल में मांग की कि सरकार पराली के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तय करे और किसानों से इसे खरीदे.
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