Himachal Pradesh Congress: हिमाचल प्रदेश कांग्रेस में क्या सबकुछ ठीक नहीं है? ये सवाल इसलिए उठ रहे हैं, क्योंकि हर कुछ दिनोंं में सुखविंदर सिंह सुक्खू (Sukhvinder Singh Sukhu) को लेकर पार्टी के अंदर से बयान आ जा रहे हैं. प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद कांग्रेस (Congress) की सरकार बनी है. अभी तीन महीने का ही वक्त बीता है. इस बाच कांग्रेस के विधायकों ने सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के खिलाफ अघोषित मोर्चा खोल दिया है. लाहौल स्पीति (Lahaul and Spiti) के विधायक रवि ठाकुर (Ravi Thakur) ने कहा कि स्वर्गीय वीरभद्र सिंह (Virbhadra Singh) छह बार मुख्यमंत्री रहे, लेकिन सुखविंदर सिंह सुक्खू विधायक से सीधे सीएम की कुर्सी पर पहुंचे हैं. वे कभी मंत्री भी नहीं रहे हैं. इसी वजह से शायद उन्हें प्रशासनिक पकड़ बनाने में थोड़ा वक्त लग रहा है.


जनजातीय जिला लाहौल-स्पीति के विधायक रवि ठाकुर ने मुस्कुराते हुए कहा कि जिस तरह नए बच्चे के दांत आने में वक्त लगता है, शायद उसी तरह सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू को भी प्रशासनिक पकड़ बनाने में थोड़ा वक्त लग रहा है. रवि ठाकुर ने कहा कि उन्होंने चार बार मुख्यमंत्री से मुलाकात कर खाली पड़े पदों को भरने की बात कही. कई बार सीएम का फोन भी आया, लेकिन बावजूद इसके काम नहीं हुआ. उन्होंने कहा कि जमीनी स्तर पर आज भी कई महत्वपूर्ण पद लाहौल स्पीति में खाली पड़े हुए हैं.



'बार-बार कहने पर भी नहीं भरे गए खाली पड़े पद'


कांग्रेस विधायक ने कहा कि लाहौल स्पीति में तीनों एसडीएम, बीडीओ और डीएफओ के पद खाली पड़े हुए हैं. ऐसे में लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. रवि ठाकुर ने कहा कि जनजातीय जिला के लिए व्यवस्था है कि जब तक कोई नया अधिकारी पोस्ट ज्वाइन न करे, तब तक पुराने अधिकारी को रिलीव नहीं किया जाता. उन्होंने मुख्यमंत्री से अनुरोध किया है कि जल्द से जल्द खाली पड़े पदों को भरा जाए, ताकि लोगों को परेशानी का सामना न करना पड़े.


हिमाचल कांग्रेस अध्यक्ष ने पत्र को बताया अंदरूनी मामला


इससे पहले लाहौल स्पीति के विधायक रवि ठाकुर ने रविवार के दिन हिमाचल कांग्रेस अध्यक्ष और मंडी संसदीय क्षेत्र से सांसद प्रतिभा सिंह को भी पत्र लिखा था. उन्होंने इस पत्र में भी मुख्यमंत्री की ओर से उनकी मांगे न माने जाने की बात कही थी. इस पर जब हिमाचल कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह से सवाल किया गया, तो उन्होंने इस मामले को पार्टी का अंदरूनी मामला बताया, लेकिन रवि ठाकुर ने खुलकर अपनी परेशानी पहले पत्र और अब मीडिया के सामने आकर भी रखी है.


आने वाले वक्त में कांग्रेस की बढ़ेगी परेशानी?


गौरतलब है कि रवि ठाकुर मंत्री पद की रेस में भी शामिल थे. अब तक उन्हें मंत्रिपरिषद में शामिल नहीं किया गया है. रवि ठाकुर की जगह जनजातीय जिला किन्नौर से संबंध रखने वाले जगत सिंह नेगी को मंत्रिपरिषद में जगह मिली है. ऐसे में रवि ठाकुर का मंत्रिपरिषद में शामिल होने की संभावना भी अब न के बराबर है. साथ ही उनके नाम की चर्चा विधानसभा उपाध्यक्ष को लेकर भी रही, जो अब तक सिरे नहीं चढ़ सकी. ऐसे में अब रवि ठाकुर का सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के खिलाफ खोला गया अघोषित मोर्चा पार्टी को परेशानी में डालने वाला है.


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