Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश विधानसभा का बजट सत्र 14 फरवरी से शुरू होना है. बजट में विधायकों की प्राथमिकता शामिल करने के लिए शिमला (Shimla) स्थित राज्य सचिवालय में विधायक प्राथमिकता की बैठक हो रही है. बैठक की अध्यक्षता मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू (Sukhvinder Singh Sukhu) कर रहे हैं. सोमवार को पहले सत्र में जिला ऊना (Una), हमीरपुर (Hamirpur) और सिरमौर (Sirmaur) के विधायकों की प्राथमिकताओं पर चर्चा की गई. 


वहीं, दूसरे सत्र में सोलन, चम्बा, बिलासपुर और लाहौल-स्पिति के विधायकों ने अपनी प्राथमिकताएं सरकार के सामने रखीं. इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा "सरकार ने वार्षिक योजना 2024-25 का आकार 9989.49 करोड़ रुपये प्रस्तावित किया है. उन्होंने कहा विधायकों की प्राथमिकताओं को सामान्यतः नाबार्ड संचालित आरआईडीएफ कार्यक्रम से वित्त पोषित किया जाता है. साल 2023-24 के दौरान नाबार्ड से 918.81 करोड़ रुपये स्वीकृत हुए हैं. इसमें लोक निर्माण विभाग की 62 और जल शक्ति विभाग की 93 विधायक प्राथमिकताएं स्वीकृत करवाई जा चुकी हैं."


भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति-CM सुक्खू 
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि कांग्रेस सरकार प्रदेश के लोगों को स्वच्छ, पारदर्शी और उत्तरदायी प्रशासन प्रदान करने के लिए वचनबद्ध है. सरकार भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति अपना रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार सरकारी तंत्र में पारदर्शिता लाने और भ्रष्टाचार पर नकेल कसने के लिए एक कानून लाने पर विचार कर रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार जनता की शिकायतों को प्रभावी ढंग से सुलझाने और कुशल प्रशासन प्रदान करने के लिए तत्परता से काम कर रही है. 


विधायकों से मिले हैं सकारात्मक सुझाव-CM सुक्खू
मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा  "राज्य सरकार नशा तस्करों और खनन माफिया पर लगाम लगाने के साथ बेसहारा पशुओं को आश्रय प्रदान करने के लिए प्राथमिकता के आधार पर काम कर रही है. बैठक के बाद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा विधायक प्राथमिकता की पहले दिन की बैठक में विधायकों के सकारात्मक सुझाव हासिल हुए हैं. सभी विधायकों ने अपने-अपने क्षेत्र की पांच-पांच प्राथमिकताएं सरकार को बताई हैं. उन्होंने कहा राज्य सरकार सभी प्राथमिकताओं को बजट में शामिल करने के लिए प्रतिबद्धता के साथ काम करेगी."


मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था को चार साल में पटरी पर लाया जाएगा और 10 सालों में राज्य पूरे देश का नंबर वन राज्य बनकर उभरेगा. उन्होंने कहा कि पिछले बजट में भी हिमाचल प्रदेश को ग्रीन एनर्जी स्टेट बनाने का लक्ष्य रखा गया था. इस दिशा में राज्य सरकार तेजी से आगे बढ़ रही है. 31 मार्च, साल 2026 तक हिमाचल प्रदेश हरित ऊर्जा राज्य बनेगा.


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