Himachal News: हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में भारी बारिश की वजह से जमकर तबाही हुई है. हिमाचल प्रदेश सरकार को करोड़ों रुपये का नुकसान हो चुका है. इसके अलावा आम जनता की निजी संपत्ति को भी नुकसान पहुंचा है. हिमाचल प्रदेश मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू (Sukhvinder Singh Sukhu) ने मंगलवार को जिला कुल्लू (Kullu), मंडी (Mandi) और लाहौल स्पिति में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण किया. इसके अलावा मुख्यमंत्री ने कुल्लू जिला के भुंतर, सैंज, कसोल और खीर गंगा समेत अन्य प्रभावित क्षेत्रों का दौरा भी किया.


पिछले तीन दिनों में हुई भारी बारिश के चलते प्रदेश भर में बड़ा नुकसान देखने को मिला है. कुल्लू के सैंज क्षेत्र में बाढ़ प्रभावित लोगों से बात करते हुए मुख्यमंत्री ने जान-माल के नुकसान पर संवेदना व्यक्त की. मुख्यमंत्री ने जनता को करते हुए आश्वस्त करते हुए प्रभावितों को हर संभव सहायता देने की भी बात भी कही. भारी बारिश से हुए नुकसान के चलते मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने क्षेत्र के लिए एक करोड़ रुपये की त्वरित राहत राशि जारी करने की घोषणा की.


कुल्लू में बिजली आपूर्ति बहाल करने का प्रयास जारी
उन्होंने कहा कि क्षेत्र में राहत और बचाव कार्य के लिए छह हेलीकॉप्टर उपलब्ध करवाए गए हैं. मुख्यमंत्री ने कहा कि सैंज क्षेत्र में बेहतर संपर्क सुविधा के लिए स्थानीय पुलिस को दो सैटेलाइट फोन भी उपलब्ध करवाए गए हैं. उन्होंने कहा कि भरी बारिश और बाढ़ से संपर्क व्यवस्था बुरी तरह से प्रभावित हुई है, जिसे बहाल करने के लिए प्रदेश सरकार त्वरित और ठोस कदम उठा रही है. मुख्यमंत्री ने कहा कि भारी बारिश से हुए नुकसान के बाद जिला कुल्लू में विद्युत आपूर्ति बहाल करने का प्रयास लगातार किया जा रहा है.


केंद्र से मिलेगी हर संभव सहायता
उन्होंने कहा कि विद्युत आपूर्ति बहाल होते ही पेजयल आपूर्ति योजनाओं को भी क्रियाशील कर दिया जाएगा. देर शाम कुल्लू और मनाली में टेंपरेरी की तौर पर बिजली सुविधा भी बहाल कर दी गई है. विभिन्न स्थानों पर फंसे पर्यटकों और स्थानीय लोगों को निकालने के लिए हवाई सेवाएं शुरू की गई है. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि उन्होंने प्रदेश में हुए नुकसान पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा, वरिष्ठ कांग्रेस नेता राहुल गांधी सहित अन्य केंद्रीय नेताओं से चर्चा की है. केंद्र ने आपदा की इस घड़ी में आवश्यक सहायता उपलब्ध करवाने का आश्वासन भी दिया है.  


अब तक कितनों की गई जान? 
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने जानकारी देते हुए बताया कि इस प्राकृतिक आपदा में प्रदेश में अब तक 27 लोगों की मृत्यु दर्ज की गई है. उन्होंने कहा कि वृहद स्तर पर हुई इस तरह की आपदा से निपटने के लिए समय की आवश्यकता रहती है. उन्होंने कहा कि चन्द्रताल में फंसे लोगों में से अभी तक सात को सुरक्षित भुंतर पहुंचाया जा चुका है.


इसके लिए पहली हेलीकॉप्टर सेवा मंगलवार सुबह शुरू की गई, लेकिन खराब मौसम के कारण इसमें देरी देखने को मिली. इसके अलावा भूस्खलन के कारण बाधित हुई सड़कों को बहाल करने के लिए ठोस कदम उठाए जा रहे हैं. यातायात बहाल करने के लिए वैकल्पिक मार्ग भी चिन्हित किए जा रहे हैं.


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