जयराम ठाकुर की अगुवाई में बीजेपी विधायकों ने राज्यपाल को सौंपा ज्ञापन, कुलदीप पठानिया पर लगाए ये आरोप
Himachal Pradesh Politics: हिमाचल में बीजेपी और कांग्रेस के बीज सियासी जंग तेज हो गई है. नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने आरोप लगाया कि हिमाचल का हर वर्ग कांग्रेस से परेशान है.
Himachal Pradesh News Today: हिमाचल प्रदेश में सोमवार के दिन सुबह से ही सियासी पारा उफान पर रहा. शाम को साढे चार बजे नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में भारतीय जनता पार्टी के विधायक राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल से मुलाकात करने के लिए पहुंच गए.
जहां बीजेपी विधायकों ने राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल को ज्ञापन सौंपा. इस ज्ञापन में बीजेपी विधायकों राज्यपाल को ज्ञापन के माध्यम से बताया है कि विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया का व्यवहार सदन के अंदर और सदन के बाहर भावनाओं को आहत करने वाला है.
बीजेपी विधायक दल ने आरोप लगाया कि विधानसभा अध्यक्ष अपने संवैधानिक पद की गरिमा को ठेस पहुंचा रहे हैं. सदन के अंदर भी उनका रवैया पक्षपातपूर्ण है और वह सदन में तानाशाही करते हैं. विधायक दल ने राज्यपाल को ज्ञापन के साथ नियमों और परंपराओं को को ताक रख कर सत्तापक्ष को लाभ पहुंचाने की कोशिश कर रहे हैं.
विधानसभा अध्यक्ष के चुनावी भाषण पर विवाद
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में भारतीय जनता पार्टी विधायक दल ने राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल को बताया कि "लोकसभा चुनाव के दौरान एक कार्यक्रम में विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने कांग्रेस पार्टी की जनसभा में भाषण दिया था. यहां उन्होंने कहा कि उन्होंने छह विधायकों के सिर कलम कर दिए हैं और तीन आरे के नीचे तड़प रहे हैं."
बीजेपी विधायकों ने कहा कि "यह शब्द अलोकतांत्रिक और असंसदीय हैं. इससे विधायकों की भावना आहत हुई है. यही नहीं, इससे विधानसभा अध्यक्ष के पद की गरिमा को भी ठेस पहुंची है." विधानसभा के अंदर इंद्रदत्त लखनपाल ने यह मुद्दा उठाया और खेद प्रकट करने के लिए कहा, तो विधानसभा अध्यक्ष उन पर गैर जिम्मेदाराना टिप्पणी करने लगे.
'नैतिकता के आधार पर आसन पर नहीं बैठना चाहिए'
बीजेपी विधायक दल ने कहा, "हद तो तब हो गई, जब मीडिया के सामने उन्होंने यह कहा कि नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर बहुत जूनियर हैं. वह उन्हें कुछ नहीं सिखा सकते."
बीजेपी विधायकों ने दावा किया कि "सोमवार सुबह नियम- 274 के तहत विधानसभा सचिव को नोटिस दिया गया है कि विधानसभा अध्यक्ष को पद से हटाने का संकल्प प्रस्ताव लाया जाए. इसके बावजूद अध्यक्ष अपने आसन पर बैठ गए."
इसमें आगे कहा गया कि "जबकि नैतिकता के आधार पर उन्हें (कुलदीप सिंह पठानिया) को मतदान तक आसन पर नहीं बैठना चाहिए." भारतीय जनता पार्टी के विधायक दल ने राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल से हिमाचल प्रदेश के खराब आर्थिक हालात पर भी चर्चा की.
जयराम ठाकुर ने लगाए ये आरोप
राज्यपाल से मुलाकात के बाद राजभवन के बाहर मीडिया से बातचीत में पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा, "हिमाचल प्रदेश में आर्थिक संकट गहराता जा रहा है. पहले मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू आर्थिक संकट की बात कर रहे थे, लेकिन जब से दिल्ली से फरमान आया है तब से वह अपनी बात से पलट गए."
उन्होंने कहा कि "मुख्य संसदीय सचिवों की असंवैधानिक फौज को बचाने के लिए ही राज्य सरकार वकीलों पर सात करोड़ रुपए खर्च कर चुकी है. इस सब के बीच सरकार ने अपने वेतन और भत्ते डिले कर एक बड़ा दिखावा किया है."
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा, "जनता सब कुछ जानती है. सत्ता में आने से पहले बड़े- बड़े दावे करने वाली कांग्रेस आज जनहित के कामों से दूरी बना चुकी है. उन्होंने कहा कि राज्य के हर वर्ग में आज नाराजगी है."
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