Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश में बागवानी को बढ़ावा देने के लिए लगातार कोशिश की जा रही हैं. राज्य में अब सेब, प्लम, अनार और खुमानी के बाद जापानी फल भी नजर आने लगा है. शुरुआती तौर पर मंडी और कुल्लू के बागवान जापानी फल उगा रहे हैं.
फल मंडी में बागवानों को जापानी फल के अच्छे दाम मिल रहे हैं. बाजारों में भी जापानी फल बिकता हुआ नजर आ रहा है. आने वाले वक्त में जापानी फल बागवानों के लिए कमाई का एक बड़ा साधन बनकर उभर सकता है.
हिमाचल प्रदेश में हर साल जापानी फल का उत्पादन बढ़ रहा है. पिछले कुछ सालों से जापानी फल का उत्पादन क्षेत्र बढ़ा है. जानकारी के मुताबिक, जिला कुल्लू में 283 हेक्टेयर भूमि पर जापानी फल का उत्पादन हो रहा है, जबकि जिला मंडी में 371 हेक्टेयर भूमि पर जापानी फल पैदा हो रहा है.
पिछले साल मंडी जिला में 120 मिट्रिक टन उत्पादन हुआ था. इस बार और भी ज्यादा होने का पूर्वानुमान है. जापानी फल को उगाना बागवानों के लिए फायदेमंद साबित हो रहा है. फायदा होने से बागवानों के चेहरे खिले हुए हैं. जापानी फल के उत्पादन में लागत कम आती है और फायदा ज्यादा होता है.
फल उत्पादन को बागवानी नीति से मिलेगा बढ़ावा
जल्द ही हिमाचल प्रदेश सरकार राज्य में बागवानी नीति भी लागू करने जा रही है. बागवानी नीति से हजारों लोगों को रोजगार उपलब्ध कराने का मंसूबा है. दावा किया जा रहा है कि राज्य के 82 हजार 500 लोगों को रोजगार मिलेगा. 1 हजार 292 करोड़ रुपये की परियोजना हिमाचल प्रदेश के सात जिलों में छह हजार हेक्टेयर क्षेत्र को कवर करेगी. दो चरणों में अमरूद-नींबू प्रजाति के फलों, अनार, ड्रैगन फ्रूट, जामुन और कटहल के पौधे लगाए जाएंगे. बागवानी नीति का उद्देश्य देश भर में हिमाचल को फल राज्य के तौर पर स्थापित करना है.
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