Himachal Pradesh: हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ लेने के बाद सुखविंदर सिंह सुक्खू (Sukhwinder Singh Sukhu) के घर-परिवार में खुशी का माहौल है. CM सुक्खू की धर्मपत्नी कमलेश ठाकुर (Kamlesh Thakur) ने कहा है कि उन्हें विश्वास था कि सुखविंदर सिंह का संघर्ष एक दिन जरूर सफल होगा. उन्होंने सुक्खू को इस जिम्मेदारी के लिए आलाकमान का दिल से आभार व्यक्त किया. कमलेश ठाकुर ने कहा कि उन्होंने सुखविंदर सिंह सुक्खू का हर कदम पर साथ दिया. उन्होंने कहा कि सुक्खू राजनीति में ही आगे बढ़ना चाहते थे. इसलिए उन्होंने कभी भी उन्हें राजनीति से दूर रहने की बात नहीं की और हमेशा आगे बढ़ने के लिए ही सहयोग दिया. कमलेश ठाकुर ने कहा कि वे एक घरेलू महिला हैं. राजनीति को नहीं समझतीं, लेकिन सुखविंदर सिंह प्रदेश की जनता के हित के लिए ही काम करेंगे.


संघर्ष भरा रहा सुखविंदर सिंह सुक्खू का जीवन
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की धर्मपत्नी कमलेश ठाकुर ने कहा कि सुखविंदर सिंह का जीवन संघर्षों से भरा रहा है. उन्होंने सुखविंदर सिंह सुक्खू को इस जिम्मेदारी को सौंपने के लिए आलाकमान का भी आभार व्यक्त किया. कमलेश ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री पद को लेकर चल रही गहमागहमी के बीच उनके मन में कोई चिंता नहीं थी. उन्हें आलाकमान पर विश्वास था. आलाकमान ने जो भी फैसला लिया, वह सभी को मंजूर है. कमलेश ठाकुर ने कहा कि प्रदेश भर की जनता सुखविंदर सिंह को मुख्यमंत्री बनाए जाने से खुश है. उसी प्रदेश की जनता में वह भी शामिल हैं.


साधारण परिवार से उठकर राजनीति में आए सुक्खू
हिमाचल प्रदेश के सातवें मुख्यमंत्री बने सुखविंदर सिंह सुक्खू साधारण परिवार से संबंध रखते हैं. जिला हमीरपुर के नादौन में सुक्खू का जन्म एचआरटीसी ड्राइवर रशील सिंह के घर पर हुआ. सुखविंदर सिंह सुक्खू के घर में दूर-दूर तक राजनीति से किसी का संबंध नहीं था, लेकिन सुक्खू ने कॉलेज से राजनीति की शुरुआत की और एनएसयूआई व यूथ कांग्रेस से होते हुए हिमाचल कांग्रेस में अपना नाम कद्दावर नेताओं की सूची में शामिल किया. 40 साल तक सक्रिय राजनीति में रहने के बाद सुखविंदर सिंह सुक्खू आज हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री के पद पर काबिज हुए हैं.


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