Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू (Sukhwinder Singh Sukhu) ने अपने बजट (Himachal Budget 2023) में प्रदेश को मार्च, 2026 तक हरित ऊर्जा राज्य बनाने का लक्ष्य रखा है. हिमाचल प्रदेश को इस दिशा में आगे बढ़ाने के लिए सरकार ने निर्णय लिया है. प्रदेश को इलेक्ट्रिक गाड़ियों के लिए आदर्श राज्य के रूप में विकसित किया जाएगा.


इस कड़ी में कार्बन उत्सर्जन को कम करने के उद्देश्य से निजी और सरकारी क्षेत्रों के सहयोग के साथ चरणबद्ध तरीके से इलेक्ट्रिक गाड़ियों को प्रोत्साहन दिया जाएगा. पहले चरण में राष्ट्रीय और राज्य उच्च मार्गों को इलेक्ट्रिक गाड़ियों के लिए ग्रीन कॉरिडोर के रूप में विकसित किया जाएगा. ग्रीन कॉरिडोर में चार्जिंग स्टेशन स्थापित किए जाएंगे ताकि इलेक्ट्रिक गाड़ियों को किसी तरह की कोई परेशानी न हो.


पहले चरण में स्थापित होंगे छह ग्रीन कॉरिडोर


1. परवाणू-नालागढ़-ऊना-हमीरपुर-देहरा-अंब-मुबारकपुर-संसारपुर-नूरपुर 


2. पांवटा-नाहन-सोलन-शिमला


3. परवाणू-सोलन-शिमला-रामपुर-पियो-ताबू-काजा-लोसर


4. शिमला-बिलासपुर-हमीरपुर-कांगड़ा-नूरपुर-बनीखेत-चंबा


5. मंडी-जोगिंदरनगर-पालमपुर-धर्मशाला-कांगड़ा-पठानकोट


6. कीरतपुर-बिलासपुर-मंडी कुल्लू-मनाली-केलांग-जिंगजिंबार


फॉसिल फ्यूल पर निर्भरता होगी खत्म


मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा है कि उनकी सरकार आने वाले सालों में सार्वजनिक परिवहन को इलेक्ट्रिक वाहन के रूप में विकसित करेगी. इससे फॉसिल फ्यूल पर निर्भरता लगभग खत्म हो जाएगी. इलेक्ट्रिक गाड़ियों को बढ़ावा देने के लिए काम किया जाएगा. हिमाचल प्रदेश को ग्रीन स्टेट के रूप में विकसित करने के लिए सरकार वायु, ध्वनि और अन्य सभी प्रकार के प्रदूषण को कम करने की ओर भी ध्यान दे रही है.


बता दें कि इसबार राज्य के सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने  साल 2023-24 के लिए 53 हजार 413 करोड़ का बजट पेश किया है. इसमें शिक्षा के क्षेत्र के लिए कुल 8 हजार 828 करोड़ रुपए प्रस्तावित हैं. बजट सत्र का आज आठवां दिन है. सरकार अपने बजट को ऐतिहासिक बता रही है जबकि विपक्ष का कहना है कि यह गुमराह करने वाला बजट है. विपक्षी बीजेपी इसकी आलोचना कर रही है.


Himachal Budget 2023: हिमाचल की शिक्षा के लिए 8,828 करोड़ रुपये, जानिए-सुक्खू सरकार कैसे खर्च करेगी ये पैसा