Himachal Assembly Bypoll 2024: हिमाचल के तीन विधानसभा क्षेत्र में 10 जुलाई को उपचुनाव होना है. इसके नतीजे 13 जुलाई को आएंगे. चुनाव प्रचार के लिए भी चंद दिनों का ही समय रह गया है. ऐसे में प्रचार भी जोरो-शोरों से होता हुआ नजर आ रहा है. देहरा विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस प्रत्याशी मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की धर्मपत्नी कमलेश ठाकुर हैं. यहां उनका मुकाबला भाजपा के होशियार सिंह से है. पूरे प्रदेश की निगाहें इसी सीट पर हैं. इस सीट पर जीत के लिए पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर खुद भी पूरा जोर लगा रहे हैं. इसी बीच प्रचार के दौरान जयराम ठाकुर ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू पर जोरदार निशाना साधा.
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की तानाशाही के चलते राज्य में उपचुनाव हो रहे हैं. मुख्यमंत्री बार-बार उपचुनाव का बिल भारतीय जनता पार्टी पर फाड़ते हैं, लेकिन वास्तव में मुख्यमंत्री की कार्यप्रणाली की वजह से ही उपचुनाव हो रहे हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की कार्यप्रणाली ने प्रदेश में ऐसे हालात पैदा किए है, जिसकी वजह से उनकी पार्टी के विधायकों को ही बगावत करने के लिए मजबूर होना पड़ा. पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि हिमाचल में कांग्रेस की सरकार मित्रों की सरकार है. उन्होंने राज्य सरकार की ओर से संस्थाओं को डिनोटिफाई करने का मामला भी जोरो-शोरों से उठाया.
सरकार पर पूर्व निर्दलीय विधायकों को प्रताड़ित करने के आरोप
हिमाचल के पूर्व सीएम ने कहा कि सरकार की ओर से पूर्व निर्दलीय विधायकों को प्रताड़ित करने का काम किया गया. सरकार ने अपने तंत्र का दुरुपयोग करते हुए पूर्व निर्दलीय विधायकों के परिवार के लोगों, सहयोगियों, दोस्तों और रिश्तेदारों को सत्ता के दम पर प्रताड़ित किया. उन्होंने कहा कि पूर्व निर्दलीय विधायकों के जनता से जुड़े हुए कामों को भी सरकार ने लटकाने की कोशिश की और लोगों की समस्याओं को भी अनसुना किया. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की इसी तानाशाही की वजह से ही तीनों निर्दलीय विधायकों को इस्तीफा देना पड़ा.
प्रचार में आया राज्यसभा चुनाव का भी जिक्र
जयराम ठाकुर ने कहा कि राज्यसभा चुनाव के लिए कांग्रेस ने एक ऐसे नेता को अपना प्रत्याशी बनाया, जो राम मंदिर के खिलाफ मुकदमा लड़ा था. इसी के चलते तीनों निर्दलीय विधायकों ने कांग्रेस प्रत्याशी को समर्थन न देकर भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी हर्ष महाजन को राज्यसभा चुनाव में अपना समर्थन दिया. इसके बाद से ही मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने उन्हें परेशान करना शुरू कर दिया.
बीजेपी नेता ने आरोप लगाया कि फर्जी मुकदमों के जरिए निर्दलीय विधायकों को प्रताड़ित किया गया. इसके अलावा उनके परिजनों और रिश्तेदारों को भी प्रताड़ित करने की कोशिश की गई. ऐसे में उनके पास सिर्फ इस्तीफा देने का ही रास्ता बचता था. जयराम ठाकुर ने कहा कि सत्ता की इसी तानाशाही के खिलाफ उपचुनाव में जनता को वोट करना है.
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