Himachal: हिमाचल प्रदेश शिक्षा निदेशालय ने घंटे भर में बदल दिए आदेश, करा दी सरकार की फजीहत
Himachal Pradesh Education Department: हिमाचल प्रदेश शिक्षा निदेशालय ने आदेश जारी कर कहा था कि सभी जिला उप निदेशक सरकारी स्कूलों में एनुअल फंक्शन पर रोक लगाने के निर्देशों पर अमल करें.
HP School Annual Function News: हिमाचल प्रदेश शिक्षा निदेशालय ने अपना एक फैसला घंटे भर में पलट कर ही सरकार की फजीहत करने का काम कर दिया. दरअसल, हिमाचल प्रदेश शिक्षा निदेशालय के निदेशक अमरजीत कुमार शर्मा (Amarjeet Kumar Sharma) की ओर से आदेश जारी किए गए. इन आदेशों में यह स्पष्ट लिखा गया था कि सभी जिला उप निदेशक सरकारी स्कूलों में वार्षिक समारोह यानी एनुअल फंक्शन पर रोक लगाने के निर्देशों पर अमल करें. इस आदेश में मोस्ट अर्जेंट और तत्काल प्रभाव से लागू करने वाला बताया गया था. जब तक उप निदेशकों के पास यह आदेश पहुंच पाते, उससे पहले ही शिक्षा निदेशालय ने अपने आदेशों को बदल दिया.
इसके बाद शिक्षा निदेशालय की ओर से एक और आदेश जारी किया गया. इस आदेश में यह बताया गया कि शिक्षा निदेशालय की ओर से एनुअल फंक्शन न करने का आदेश वापस ले लिया गया है. लोग स्कूलों में एनुअल फंक्शन पर रोक लगाने के आदेशों की जमकर सराहना कर रहे थे. इससे बोर्ड की परीक्षा की तैयारी करने वाले विद्यार्थियों को समय मिलने की बात कही जा रही थी. इससे पहले की शिक्षा निदेशालय की का यह आदेश सिरे चढ़ता, उससे पहले ही शिक्षा निदेशालय ने यह आदेश वापस ले लिया.
सोशल मीडिया पर सरकार को क्या कह रहे लोग
भले ही इन आदेशों में पर सीधे तौर पर अधिकारी का हस्तक्षेप रहा, लेकिन इससे बैठे-बैठे सरकार की फजीहत हो गई. लोग सोशल मीडिया पर सरकार को पलटू सरकार भी बता रहे हैं. गौरतलब है कि इससे पहले विपक्ष में रहते हुए कांग्रेस पूर्व की जयराम ठाकुर सरकार को पलटूराम सरकार कहती रही है. अब अधिकारियों के यह फैसला पलटने के बाद कांग्रेस सरकार की फजीहत हो गई.
क्या मंत्रियों के दबाव में वापस लिया गया फैसला?
बताया जा रहा है कि कुछ मंत्रियों और विधायकों के दबाव में शिक्षा निदेशालय को यह फैसला वापस लेना पड़ा. ज्यादातर वार्षिक समारोह में स्थानीय विधायक और मंत्रियों को कार्यक्रमों में बुलाया जाता है. इन कार्यक्रमों में जाकर मुख्य अतिथि मेधावी बच्चों को सम्मानित करते हैं. साथ ही बच्चे रंगारंग सांस्कृतिक प्रस्तुतियां भी देते हैं. लगे हाथ विधायकों और मंत्रियों की राजनीति भी चमक जाती है.