Himachal Pradesh Politics: हिमाचल प्रदेश सरकार में उद्योग मंत्री रहे बिक्रम सिंह ठाकुर ने सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली सरकार पर निशाना साधा है. बिक्रम सिंह ठाकुर ने कहा कि सुक्खू सरकार का दो साल का कार्यकाल असफलताओं से भरा रहा है. कुछ बच्चों को आदत होती है कि वह असफलता का भी जश्न मनाते हैं. ऐसे में राज्य सरकार अपने फैलियर का जश्न मनाने का काम कर रही है. पूर्व उद्योग मंत्री और बीजेपी विधायक बिक्रम सिंह ठाकुर ने कहा कि मुख्य संसदीय सचिवों की नियुक्ति असंवैधानिक रूप से की गई थी. बार-बार भारतीय जनता पार्टी भी यह बात कह रही थी और अब कोर्ट के फैसले से यह साबित हो गया है.
पूर्व उद्योग मंत्री बिक्रम सिंह ठाकुर का निशाना
बिक्रम सिंह ठाकुर ने कहा कि अब राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट जा रही है और सुप्रीम कोर्ट जाकर भी औंधे गिरने वाली है. बिक्रम सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री को यह बताना चाहिए की मुख्य संसदीय सचिवों की कुर्सी बचाने पर कितनी धनराशि खर्च की गई है. उन्होंने कहा कि बीते दो साल में एक भी अच्छा काम नहीं हुआ है और राज्य सरकार ने जो फैसला लिया, उसका परिणाम उल्टा ही आया है.
बात चाहे टॉयलेट टैक्स की हो या एचआरटीसी में किराए की, हर जगह राज्य सरकार की फजीहत ही हुई है. उन्होंने कहा कि समोसे पर जांच करके भी मुख्यमंत्री ने हर जगह अपनी फजीहत कराने का काम किया है. अब मुख्य संसदीय सचिवों की नियुक्ति असंवैधानिक करार दिए जाने के बाद मंत्री बनने की लड़ाई तेज हो गई है. यहां 'एक अनार और सौ बीमार' वाली स्थिति पैदा हो गई है.
CM सुक्खू पर बिक्रम सिंह ठाकुर का तंज
बिक्रम सिंह ठाकुर ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू पर तंज भी किया. उन्होंने कहा कि न जाने मुख्यमंत्री कौन सी दवाई खाते हैं, जिससे वह पूरा दिन भर झूठ बोलने का ही काम करते हैं. बिक्रम सिंह ठाकुर ने कहा कि सीएम एक के बाद एक झूठ बोल रहे हैं. हाल ही में सीएम ने महाराष्ट्र में भी अपनी गारंटी को लेकर झूठ कहा. उन्होंने कहा कि 18 साल से उम्र ज्यादा उम्र की हर महिला को 1 हजार 500 रुपए की सम्मान राशि दी जा रहा है. इसमें कोई वास्तविकता नहीं है. बिक्रम सिंह ठाकुर ने कहा कि राज्य सरकार लगातार झूठ बोलने का काम कर रही है और राज्य की जनता सरकार से परेशान हो गई है.
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