Himachal: अब शिमला में साल भर होगी आइस स्केटिंग, जानें- कितने करोड़ होंगे इस पर खर्च?
Shimla News: हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला में अब सर्दियों के मौसम में ही नहीं, बल्कि साल भर आइस स्केटिंग (Ice Skating) हो सकेगी. इसके लिए सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार 42 करोड़ रुपए खर्च करेगी.
Shimla Ice Skating: पहाड़ों की रानी शिमला में अब लोग साल भर आइस स्केटिंग का लुत्फ उठा सकेंगे. इसके लिए 42 करोड़ रुपए खर्च होंगे. हालांकि, साल भर स्केटिंग करने के लिए कुछ वक्त इंतजार करना होगा, लेकिन बहुत इस योजना पर काम अब पूरा होने वाला है.
इसके अलावा, शिमला में अत्याधुनिक तकनीक से आइस स्केटिंग के साथ रोलर स्केटिंग रिंक बनाया जाएगा. इसकी टेंडर प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. काम पूरा होने के बाद यहां ऑल वेदर रिंक अत्याधुनिक तकनीक से तैयार होगा. इसमें स्केटर्स को बेहतरीन सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाएंगी. मौजूदा वक्त में यहां दो से तीन महीने ही सर्दियों के मौसम में स्केटिंग हो पाती है. इसके लिए भी स्केटिंग क्लब को यहां मौसम पर ही निर्भर रहना पड़ता है.
42 करोड़ रुपए किए जाएंगे खर्च
जिला शिमला उपयुक्त अनुपम कश्यप ने बताया है कि एशियाई विकास बैंक के माध्यम से 42 करोड़ रुपए की लागत से बनाने वाले प्रस्तावित रिंक और भवन निर्माण के लिए हिमाचल प्रदेश पर्यटन विभाग ने टेंडर कॉल किए हैं. आठ अगस्त टेंडर भरने का आखिरी दिन है. यह काम दो हिस्सों में बांटा गया है. इसमें एक सिविल कार्य दूसरा तकनीकी कार्य है. एडीबी की वित्तीय मदद से बनाए जाने वाले स्केटिंग रिंक में हर मौसम में बर्फ जमाने के लिए रेफ्रिजरेशन प्लांट भी स्थापित किया जाएगा. ताकि साल भर आईस स्केटिंग की सुविधा मिल सके.
स्केटिंग रिंक में चेंजिंग रूम, रिंक, रोलर रिंक, रेस्टोरेंट, फायर अलार्मिंग सिस्टम, कांफ्रेंस हाॅल, सर्विलांस सिस्टम सहित अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप स्केटिंग सुविधा मुहैया करवाए जाने की योजना प्रस्तावित है.
स्केटिंग रिंक तक कैसे पहुंच सकते हैं पर्यटक?
मशहूर शिमला आइस स्केटिंग रिंक लक्कड़ बाजार के पुराना बस स्टैंड के नजदीक है. यहां पहुंचने के लिए पुराना बस स्टैंड से लक्कड़ बाजार के लिए लोकल बस लेकर पहुंचा जा सकता है. निजी गाड़ी या टैक्सी के माध्यम से भी यहां पहुंचना बेहद आसान है. रिंक मुख्य सड़क से ही नजर आ जाती है. अगर आप मालरोड पर हैं, तो स्कैंडल प्वाइंट से तिब्बती मार्केट होते हुए आसानी से स्केटिंग रिंक तक पहुंचा जा सकता है.
स्केटिंग रिंक ने ली टेनिस कोर्ट की जगह
ब्रिटिश शासनकाल के दौरान भारत पर अधिपत्य स्थापित कर राज करने वाले अंग्रेज शिमला की अलग-अलग जगहों पर खेल खेला करते थे. मौजूदा वक्त में जहां स्केटिंग रिंक है, वहां साल 1920 तक टेनिस खेला जाता था. अंग्रेज ब्लेस्सिंगटन भी यहां टेनिस खेलने आया करता था, लेकिन मुश्किल यह थी कि सर्दियों के समय यह टेनिस कोर्ट जम जाया करता और अंग्रेज यहां खेल नहीं पाते. तभी उत्सुकतावश ब्लेस्सिंगटन ने टेनिस कोर्ट में पानी भर दिया और सुबह जब वापस लौटा, तो पूरा टेनिस कोर्ट पर बर्फ की पतली परत जम चुकी थी. तभी ब्लेस्सिंगटन को यहां आइस स्केटिंग रिंक बनाने का ख्याल आया. इस तरह यहां शिमला में एशिया का पहला ओपन स्केटिंग रिंक है.
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