Snowfall In Himachal Pradesh: पहाड़ देखने में जितने खूबसूरत होते हैं. वास्तव में उतने ही खतरनाक भी होते हैं. पहाड़ में रहने वाले लोगों का जीवन सदैव चुनौतियों से भरा ही रहता है. ऐसी ही चुनौती जिला सिरमौर के हरिपुरधार में छोटे बच्चों के सामने उस समय आकर खड़ी हो गई, जब बर्फबारी के दौरान उन्हें परीक्षा देने के लिए स्कूल पहुंचना पड़ा. 


इलाके में तापमान माइनस पांच डिग्री तक लुढ़क चुका था और सड़क भी बर्फ से भरी हुई थी. इस बीच स्कूल में वार्षिक परीक्षा थी, तो बच्चों को संघर्ष कर स्कूल तक पहुंचना पड़ा. कई बच्चों ने तो बर्फ में करीब 12 किलोमीटर का पैदल सफर कर स्कूल पहुंचने का जोखिम उठाया.


बर्फबारी की वजह से बंद पड़ी सड़क
इन दिनों हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड की ओर से स्कूली बच्चों की परीक्षाएं आयोजित करवाई जा रही हैं. हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर के हरिपुरधार इलाके में प्राइमरी स्कूल में 143 बच्चे पढ़ाई करते हैं. समुद्र तल से करीब आठ हजार फीट की ऊंचाई पर बच्चों को संघर्ष कर परीक्षा देने के लिए पहुंचना पड़ा. बर्फबारी की वजह से सड़कें बंद हो चुकी थी. ऐसे में पैदल ही रास्ता तय करना पड़ा. कई बच्चों को तो उनके मां-बाप पीठ पर उठाकर स्कूल तक पहुंचे. सुबह के वक्त पहले बच्चों ने प्रार्थना सभा में हिस्सा लिया और उसके बाद तीन घंटे तक ठंडा कमरे में बैठकर परीक्षा दी.


अभिभावकों की सरकार से अहम मांग
हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर के हरिपुरधार में पढ़ने वाले इन बच्चों के अभिभावकों की मांग है कि बच्चों की परीक्षा दिसंबर महीने में न करवाई जाए. अभिभावक दिनेश ठाकुर ने कहा कि चंबा और किन्नौर की तर्ज पर हरिपुरधार इलाके में भी नवंबर महीने के अंत तक परीक्षाओं को पूरा करवा देना चाहिए. 


दिसंबर महीने में बर्फबारी की वजह से ठंड बढ़ जाती है और बच्चों को स्कूल तक पहुंचने में परेशानी का सामना करना पड़ता है. ठंड के दौरान कई बच्चे बीमार पड़ जाते हैं और परीक्षा सही तरह से नहीं दे पाते. ऐसे में बच्चों की साल भर की मेहनत पर पानी फिर जाता है. अभिभावकों ने राज्य सरकार और स्कूल शिक्षा बोर्ड से मांग की है कि बच्चों की परीक्षाएं नवंबर महीने के अंत तक पूरी करवा दी जाए.


डिप्टी डायरेक्टर को सुझाव दे सकते हैं अभिभावक
वहीं, हिमाचल प्रदेश प्रारंभिक शिक्षा निदेशक आशीष कोहली ने कहा कि विभाग अभी स्कूलों में छुट्टियों की शेड्यूल में बदलाव कर रहा है. जिला सिरमौर के हरिपुरधार स्कूल को लेकर अभिभावक डिप्टी डायरेक्टर को सुझाव दे सकते हैं. सुझाव मिलने के बाद इस पर विचार किया जाएगा. विभाग स्कूली बच्चों की परेशानी को कम करने के लिए प्रतिबद्ध है.


ये भी पढ़ें: सुक्खू सरकार को बैकफुट पर लाएगी बीजेपी? 18 दिसंबर को विधानसभा घेराव की तैयारी