Himachal Vegetable And Fruit Price Hike: मॉनसून सीजन के दौरान अमूमन फलों और सब्जियों के दाम आसमान छूने लगते है. बारिश की वजह से सब्जियों का खराब होना और रोड बंद होने से वक्त पर आपूर्ति न हो पाना, इसके पीछे एक बड़ी वजह होती है.


इन दिनों भी बारिश की वजह से सब्जियों और फलों के दाम बढ़े हुए हैं. इससे आम आदमी के बजट पर सीधा असर पड़ रहा है. हालांकि बीते दिनों के मुकाबले दाम कुछ काम हुए हैं, लेकिन अब भी यह बजट बिगड़ने वाले ही हैं.


जानें- क्या है फल-सब्जियों के दाम?
शिमला सब्जी मंडी में मटर 100 रुपये प्रति किलो तक बिक रहा है. बीते हफ्ते मटर का दाम डेढ़ सौ रुपये प्रति किलो तक पहुंच गया था. इसके अलावा अदरक 210, टमाटर 60, भिंडी 60, लहसुन 210, प्याज 50, खीरा 40, आलू 50, गोभी 40, बैंगन 40, करेला 40, शिमला मिर्च 60, घीया 40, पालक 60, बीन 80 और गाजर 60 रुपये प्रति किलो तक मिल रहा है. बात अगर फलों के दाम की करें, तो पपीता 80, प्लम 100 और नाशपाती 80 रुपये प्रति किलो तक मिल रही है.


फलों का राजा कहे जाना वाला आम इन दिनों 100 रुपये का ढाई किलो मिल रहा है. जल्द ही मार्केट में हिमाचली सेब की भी एंट्री होने वाली है. फिलहाल थोक मंडियों में जो सेब आ रहा है, वह बाहरी राज्यों में बिक्री के लिए भेजा जा रहा है.


दाम बढ़ने पर घट गई घर जाने वाली सब्जियों की मात्रा
शिमला सब्जी मंडी में रोजाना की तरह आज भी सब्जी खरीदने पहुंचे रिटायर्ड कर्मचारी भानु प्रताप वर्मा और कृष्णदत्त ठाकुर ने बताया कि बीते कई दिनों से सब्जी के दाम लगातार आसमान छू रहे हैं. इससे आम आदमी का बजट बिगड़ा है.


हर साल मानसून के महीने में इसी तरह सब्जियों और फलों के दाम बढ़ ही जाते हैं. जब भी सब्जियों के दाम बढ़ते हैं, तो वह रोजाना घर ले जाने वाली सब्जियों की मात्रा को घटा लेते हैं. फलों और सब्जियों के दाम दोबारा घटेंगे, तो पहले की तरह ही सब्जियां थैला भरकर घर पहुंचेंगी. फिलहाल इसी दाम पर सब्जी और फल खरीदने के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है.


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